- अरविंद केजरीवाल बोले- राम राज्य से प्रेरणा लेकर शासन के 10 सिद्धांत बनाए
- सीएम केजरीवाल ने बताया कि वो किस तरह राम भक्त भी हैं।
- दिल्ली सरकार का कहना है कि उसके एजुकेशन बोर्ड से देशभक्त बच्चे निकलेंगे
दिल्ली। राम राज्य की संकल्पना अब सिर्फ बीजेपी की थाती नहीं है। इस पर दिल्ली की आम आदमी पार्टी की सरकार ने भी अपने राय को सबके सामने रखा है। हाल ही में जब दिल्ली सरकार ने बजट पेश किया तो यह बताया कि वो चाहते हैं कि दिल्ली में राम राज्य स्थापित हो और उसके लिए उनकी सरकार काम कर रही है। दिल्ली सरकार ने शिक्षा में आमूलचूल बदलाव के लिए ना सिर्फ अलग बोर्ड का गठन किया है। बल्कि बजट का 25 फीसद हिस्सा भी दिया है। इसके साथ ही दिल्ली के सीएम ने बताया कि राम राज्य से प्रेरणा लेकर ही उन्होंने सरकार के लिए 10 सिद्धांत बनाए हैं।
मैं इसलिए राम भक्त हूं
विधानसभा में दिल्ली के सीएम अरविंद केजरीवाल ने कहा कि मैं हनुमान का भक्त हूं जो भगवान राम का भक्त था। इसलिए मैं दोनों का भक्त हूं। भगवान राम अयोध्या के राजा थे। कहा जाता है कि उनके शासन के दौरान सब कुछ अच्छा था। कोई दुःख नहीं था। हर सुविधा थी। इसे 'राम राज्य' कहा जाता था, जो एक अवधारणा है।
आप सरकार का राम राज
अरविंद केजरीवाल ने बताया कि जब वो दिल्ली के विकास के बारे में सोचते हैं तो उन्हें लगता है कि एक ऐसी व्यवस्था होनी चाहिए जिसके जरिए समाज का हर एक वर्ग अपनी क्षमता हिसाब से राज्य के बुनियादी ढांचे में खुद को फिट पा सके।दिल्ली सरकार का मत है कि शासन व्यवस्था का फायदा समाज के उस तबके तक जरूर पहुंचना चाहिए जो वर्षों से उपेक्षित रहा। है। दिल्ली सरकार की कोशिश है कि हर एक बिंदु पर शासन का आधार इस तरह हो कि जरूरतमंदों की आवश्यकता सरकार की निगाह से ओझल ना हो और इसके लिए 10 सिद्धांतों के साथ आगे बढ़ने का फैसला किया गया है।