- रेलवे अपने कुल खर्च की 67 फीसदी राशि कर्मचारियों पर खर्च कर रही है।
- अनावश्यक पदों पर नियुक्त कर्मचारियों को दूसरी जगहों पर एक महीने के अंदर ट्रांसफर किया जाएगा।
- रसोइया, टाइपिस्ट, साफ-सफाई में मदद करने वाले, बढ़ई, पेंटर, माली जैसे पद अनावश्यक पद श्रेणी में शामिल हो सकते हैं।
Railway RRB Recruitment 2022 Latest News: रेलवे में कई पदों को खत्म करने की तैयारी है। भारतीय रेलवे बोर्ड के सीईओ और चेयरमैन वी के त्रिपाठी ने सभी जनरल मैनेजर को लिखे पत्र में कहा है कि सभी जोन ‘अनावश्यक’ पदों को समाप्त करें। और उन पदों पर नियुक्त कर्मचारियों को दूसरी जगहों पर एक महीने के अंदर ट्रांसफर किया जाय। बोर्ड के अनुसार रेलवे अपने कुल खर्च की 67 फीसदी राशि कर्मचारियों पर खर्च कर रही है।
लेटर में क्या है लिखा
न्यूज एजेंसी भाषा के अनुसार सभी रेलवे जोन के महाप्रबंधकों को लिखे पत्र में सीईओ और चेयरमैन वी के त्रिपाठी ने कहा कि अनावश्यक पदों की पहचान की जाय। और संबंधित कर्मचारियों को जरूरत के अनुसार दूसरी जगह तैनाती एक महीने के भीतर कर दी जानी चाहिए। इसके अलावा अनावश्यक पदों पर तैनात रहे कर्मचारियों को ऐसे स्थानों पर तैनात किया जाएगा, जहां लोगों की जरूरत है। और अगर जरूरत पड़ी तो कुछ कार्य को ‘आउटसोर्स’ किया जा सकता है। बोर्ड का यह भी कहना है कि आज कुल व्यय का 67 प्रतिशत कर्मचारियों पर खर्च हो रहा है, जो लंबे समय तक चलने वाला नहीं है। त्रिपाठी ने लिखा है कि रेलवे के लिये मानव संसाधन काफी मूल्यवान है। खासकर तब जब 67 प्रतिशत व्यय कर्मचारियों पर होता है। इतना ही नहीं इसमें बढ़ने की भी प्रवृत्ति है। ऐसा लगता है कि दीर्घकाल में संगठन के लिये यह व्यवस्था चलने वाली नहीं है।
ऐसे में यह जरूरी है कि कार्यबल का प्रभावी ढंग से और कुशलता से उपयोग हो। जहां कहीं भी आवश्यक हो, वहीं उपयोग किया जाए। वास्तव में संगठन को कुशल और मजबूत बनाने के लिये कार्यबल उपयोग को युक्तिसंगत बनाने की आवश्यकता है। अगर कर्मचारी ऐसी श्रेणियों में काम कर रहे हैं, जहां कार्यबल का पूरा उपयोग नहीं हो रहा है, वैसी स्थिति में गैर-जरूरी कर्मचारियों को उस जगह लगाया जाना चाहिए, जहां उनकी आवश्यकता है और पद खाली हैं। जरूरत पड़ने पर काम के लिये बाहरी एजेंसी की भी मदद (आउटसोर्स) ली जा सकती है।
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ये पद हो सकते हैं खत्म
इसके तहत रसोइया, टाइपिस्ट, साफ-सफाई में मदद करने वाले, बढ़ई, पेंटर, माली जैसे पद अनावश्यक पद श्रेणी में शामिल हो सकते हैं। पत्र में लिखा है कि कंप्यूटरीकरण और सूचना प्रौद्योगिकी के उपयोग से सांख्यिकी विभाग, ईडीपी (इलेक्ट्रॉनिक डाटा प्रसंस्करण), टिकट से जुड़े कार्य जैसे क्षेत्रों में काम का बोझ कम हुआ है। ऐसे में इन इकाइयों में तैनात कर्मचारियों का जरूरत वाले स्थानों पर तैनात किया जा सकता है। इसके अलावा जोन से पदों को समाप्त करने के लिये श्रेणी चिन्हित करने को लेकर मंडल स्तर पर लेखा, कार्मिक और एक अन्य विभाग के सदस्यों को लेकर एक समिति भी बनाने को कहा है।