- ब्लॉक स्तर के टीएमसी नेता सुशंता पाल भारतीय जनता पार्टी में शामिल हुए
- पाल ने कहा कि वह पहले भाजपा के सदस्य थे लेकिन 2005 में पार्टी से अलग हुए
- बंगाल में आठ चरणों में होंगे चुनाव, राज्य में भाजपा और टीएमसी के बीच टक्कर
कोलकाता : पश्चिम बंगाल में चुनावी पारा चढ़ने लगा है। राजनीतिक दलों में आरोप-प्रत्यारोप का दौर जारी है। सियासी मंच पर अजीबो-गरीब चीजें भी हो रही हैं। इसी क्रम में तृणमूल कांग्रेस के ब्लॉक स्तर के नेता सुशंता पाल का एक वीडियो सामने आया है। इस वीडियो में चुनावी मंच पर भाजपा नेता सुवेंदु अधिकारी की मौजूदगी में टीएमसी नेता को कान पकड़कर 'उठक-बैठक' लगाते हुए देखा जा सकता है। पाल ने लोगों को संबोधित करते हुए कहा कि 'टीएमसी का सदस्य होने से उनके ऊपर जो पाप चढ़ा है उससे उठक-बैठक लगाकर वह मुक्त होना चाहते हैं।'
मंच पर मौजूद थे सुवेंदु अधिकारी
कार्यक्रम को संबोधित करते हुए पाल ने कहा कि वह एक समय भाजपा का नेता हुआ करते थे लेकिन लेफ्ट की सरकार को सत्ता से बेदखल करने के लिए वह साल 2005 में टीएमसी में शामिल हो गए। उन्होंने कहा, 'अब मैं खुद को दंडित करते हुए अपने पापों के लिए मैं आप से क्षमा मांगता हूं।' टीएमसी नेता ने जब ये बातें कहीं, उस समय मंच पर टीएमसी छोड़कर भाजपा में शामिल हुए अधिकारी और पार्टी के अन्य नेता मौजूद थे। इसके बाद पाल ने अपने दोनों कान पकड़कर 'उठक-बैठक' लगाए जिसे देखकर मंच पर मौजूद लोगों ने ठहाके लगाए।
बंगाल में आठ चरणों में होंगे चुनाव
पश्चिम बंगाल में विधानसभा की 294 सीटों के लिए आठ चरणों में चुनाव होंगे। राज्य में इस बार मुख्य मुकाबला भाजपा और टीएमसी के बीच है। हालांकि, लेफ्ट-कांग्रेस गठबंधन मुकाबले को त्रिकोणीय बनाने की कोशिश कर रहा है। हाल के दिनों में बड़ी संख्या में टीएमसी नेता भाजपा में शामिल हुए हैं। भाजपा अपने चुनाव प्रचार को लेकर काफी आक्रामक दिख रही है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की पहली चुनावी रैली 7 मार्च को कोलकाता में होगी। भाजपा ने राज्य में पीएम की 29 रैलियां कराने की योजना बनाई है।
नंदीग्राम से चुनाव लड़ेंगी ममता
चुनाव कार्यक्रमों की घोषणा होने के बाद से राज्य में सियासी गतिविधियां तेज हो गई हैं। अगले दो दिनों में भाजपा और टीएमसी दोनों अपने उम्मीदवारों की सूची जारी कर सकती हैं। मुख्यमंत्री ममता बनर्जी इस बार नंदीग्राम से चुनाव लड़ने वाली हैं। चर्चा है कि भाजपा इस सीट पर ममता के सामने अधिकारी को अपना उम्मीदवार बना सकती है। अधिकारी इसी सीट से विधायक हैं।