PM Modi UNGA Speech: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने संयुक्त राष्ट्र महासभा के 76वें सत्र को संबोधित करते हुए कोविड-19, लोकतंत्र, अफगानिस्तान, चरमपंथ सहित कई मसलों को उठाया और इस बात पर जोर दिया कि वैश्विक संस्था को अपनी प्रासंगिकता बनाए रखने के लिए इसमें सुधार की आवश्यकता है। पीएम मोदी ने पाकिस्तान का नाम लिए बिना यह भी कहा कि आतंकवाद का इस्तेमाल राजनीतिक टूल की तरह नहीं होना चाहिए। उन्होंने कहा कि आतंकवाद उन देशों के लिए भी उतना ही बड़ा खतरा है, जो किसी न किसी रूप में इसे प्रश्रय देते हैं।
पीएम मोदी ने संयुक्त राष्ट्र में सुधार की आवश्यकता पर जोर देते हुए कहा कि खुद को प्रासंगिक बनाए रखने के लिए इसे अपने में सुधार करना होगा। पीएम मोदी में इसमें देरी नहीं किए जाने का संकेत देते हुए कहा कि जब सही समय पर सही कार्य नहीं किया जाता तो समय ही उस कार्य की सफलता को समाप्त कर देता है। संयुक्त राष्ट्र को खुद को प्रासंगिक बनाए रखना है तो उसे अपनी प्रभावशीलता को सुधारना होगा और विश्वसनीयता को बढ़ाना होगा। UN पर आज कई तरह के सवाल खड़े हो रहे हैं। इन सवालों को हमने जलवायु संकट में देखा है, कोविड-19 के दौरान देखा है। दुनिया के कई हिस्सों में चल रही प्रॉक्सी वार, आतंकवाद और अभी अफगानिस्तान संकट ने इन सवालों को और गहरा किया है। पीएम मोदी ने कहा, 'यह आवश्यक है कि हम UN को वैश्विक व्यवस्था, वैश्विक कानूनों और वैश्विक मूल्यों के संरक्षण के लिए निरंतर सुदृढ़ करें।'
पाकिस्तान का नाम लिए बगैर पीएम मोदी ने कहा कि जो देश आतंकवाद का राजनीतिक रूप में इस्तेमाल कर रहे हैं, उन्हें ये समझना होगा कि आतंकवाद, उनके लिए भी उतना ही बड़ा खतरा है। ये सुनिश्चित किया जाना बहुत जरूरी है कि अफगानिस्तान की धरती का इस्तेमाल आतंकवाद फैलाने और आतंकी हमलों के लिए न हो।