Chandigarh Electric Bus: अगर आपको बिना शोर और वायु प्रदूषण के सफर करना पसंद है तो अब आपको चंडीगढ़ में ज्यादा इंतजार नहीं करना होगा यहां पर आपको अब हर सड़क पर ई-बसें मिल जाएंगी। चंडीगढ़ ट्रांसपोर्ट अंडरटेकिंग (सीटीयू) को नई 40 इलेक्ट्रिक बसों में से पांच बसों की पहली खेप मिल गई हैं। इन बसों के चंडीगढ़ पहुंचने पर यूटी प्रशासक बनवारी लाल पुरोहित ने हरी झंडी दिखाकर शहर की सड़कों पर उतारा। इस दौरान प्रशासक ने खुद बस के अंदर चढ़कर इसकी खूबियों के बारे में जानकारी ली।
बता दें कि, वोल्वो आयशर कंपनी की इन ई-बसों को चंडीगढ़ में चलाने के लिए सीटीयू ने दस साल का करार किया है। इसके तहत दस साल में कंपनी को 115 करोड़ रुपये दिए जाएंगे। बसों को हरी झंडी दिखाते हुए यूटी प्रशासक ने कि, इलेक्ट्रिक बसों से चंडीगढ़ के पर्यावरण को कोई नुकसान नहीं होगा। उन्होंने बताया कि, ट्रांसपोर्ट डिपार्टमेंट ने जल्द ही सभी बसों को क्लीन फ्यूल में बदलने का लक्ष्य तय किया है।
इन बसों को पूरी तरह से रूट पर उतारने से सीटीयू 20 दिन का ट्रायल रन करेगा। इस दौरान इन बसों को मलोया से मनीमाजरा के बीच पीजीआई होते हुए चलाया जाएगा। ट्रायल के दौरान अगर कोई परेशानी आती है तो उसमें सुधार किया जाएगा। सभी बसें 20 जुलाई तक चंडीगढ़ पहुंच जाएगी। भारत सरकार के ग्रीन मोबिलिटी पहल के तहत चंडीगढ़ ट्रांसपोर्ट डिपार्टमेंट अपनी सभी डीजल बसों को 2027 तक इलेक्ट्रिक बसों में बदलने का लक्ष्य रखा है। अधिकारियों के अनुसार, 20 जुलाई को बसें आने के बाद इन्हें 21 जुलाई से सभी रूट पर उतार दिया जाएगा।
बता दें कि, इन बसों को सीटीयू ने कांट्रैक्ट बेस पर चलाएगा। सीटीयू की तरफ से वोल्वो आयशर को प्रति किलोमीटर 45 रुपये खर्च दिया जाएगा। बस में कंडक्टर सीटीयू का होगा जो टिकट काटेगा और रेवेन्यू जुटाएगा। वहीं बस ड्राइवर, ऑपरेशन और मेंटेनेंस का काम कंपनी ही देखेगी। बसों की चार्जिंग के लिए आईएसबीटी-17 और 43 पर कंपनी द्वारा चार्जिंग प्वाइंट बनाया जा रहा है। इन बसों की सबसे अच्छी बात यह है कि, इनमें किराया पहले से चल रही बसों जितना ही रहेगा।