कराची: कभी एक खिलाड़ी कोई बयान देता, जो मीडया या खेल जगत के अन्य सदस्य बिलकुल अलग समझकर ले लेते हैं। यही इंग्लैंड के ऑलराउंडर बेन स्टोक्स के साथ हुआ, जिन्होंने अपनी किताब में लिखा है कि 2019 विश्व कप में इंग्लैंड के खिलाफ भारतीय टीम ने जीत की कोशिश नहीं दिखाई, जिससे वह हैरान हुए। हालांकि, पाकिस्तान क्रिकेट जगत ने इस बयान को बिलकुल अलग तरीके से लिया है। पाकिस्तान के कुछ पूर्व क्रिकेटरों के मुताबिक टीम इंडिया जानबूझकर इंग्लैंड के खिलाफ मैच हारी थी ताकि पाकिस्तान की टीम अगले राउंड के लिए क्वालीफाई नहीं हो सके।
सबसे पहले भारतीय टीम पर यह आरोप सिकंदर बख्त ने लगाया था। अब पूर्व पाकिस्तानी ऑलराउंडर अब्दुल रज्जाक ने भी इस पर अपनी सहमति दर्ज कराई है। एक न्यूज चैनल में बातचीत करते हुए रज्जाक ने कहा कि उन्हें इसमें जरा भी शक नहीं कि पाकिस्तान को क्वालीफाई करने से रोकने के लिए भारतीय टीम जानबूझकर हारी हो।
शक की कोई बात ही नहीं
रज्जाक ने एरी स्पोर्ट्स से बातचीत में एमएस धोनी की पारी पर ध्यान दिलाते हुए अपने विचार रखे। बता दें कि धोनी ने उस मैच में 31 गेंदों में 42 रन की पारी खेली थी। रज्जाक ने कहा, 'इसमें शक की बात ही कोई नहीं। हमने उस वक्त ही बोला था। सारे लोग कह रहे हैं, जितने क्रिकेटर्स हैं सब कह रहे हैं। एक आदमी छक्का मार सकता है, चौका मार सकता है, लेकिन फिर भी वो गेंद रोक रहा है। तो पता चल जाता है न।'
याद हो कि इंग्लैंड के खिलाफ मैच में भारतीय टीम 338 रन के लक्ष्य का पीछा कर रही थी। रोहित शर्मा का शतक और कप्तान विराट कोहली का अर्धशतक भी भारतीय टीम की हार को नहीं टाल सका था। टीम इंडिया को 31 रन से शिकस्त झेलनी पड़ी थी। हालांकि, भारतीय टीम के पास पांच विकेट बचे थे और आखिरी पांच ओवर में उसने जीतने का जज्बा नहीं दिखाया, जिस पर कई विशेषज्ञों ने सवाल खड़े किए थे। अगर भारतीय टीम वह मैच जीतती तो इंग्लैंड का नॉकआउट में पहुंचना मुश्किल हो जाता और पाकिस्तान के पास मौका बनता।
हाल ही में इंग्लैंड के ऑलराउंडर बेन स्टोक्स की किताब ने इस मैच के बारे में चर्चा बढ़ा दी। उन्होंने अपनी किताब में लिखा कि जिस तरह भारतीय टीम बल्लेबाजी कर रही थी, वो इंग्लैंड टीम के लिए देखना भी थोड़ा हैरानीभरा था।
स्टोक्स ने लिखा, 'एमएस धोनी जिस तरह खेल रहे थे, भारत को 11 ओवर में 112 रन की दरकार थी। तब धोनी छक्के जमाने के बजाय एक रन लेने पर ज्यादा ध्यान दे रहे थे। भारतीय टीम के पास जीतने का मौका था, लेकिन केदार जाधव और धोनी ने जीतने का जज्बा नहीं दिखाया। मेरी नजर में जीत तो मुमकिन थी और आपको बड़े स्ट्रोक्स खेलने थे। रोहित शर्मा और विराट कोहली जिस तरह खेले, वह भी रहस्यमयी लगा। मुझे पता है कि हमने उस समय अच्छी गेंदबाजी की थी, लेकिन जिस तरह वह बल्लेबाजी कर रहे थे, उस पर कुछ समझ नहीं आया।'
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