नई दिल्ली: कोरोना वायरस के कारण पूरी दुनिया में खेल के मैदान सूने पड़े हैं। खिलाड़ी घर पर लॉकडाउन में वक्त गुजार रहे हैं और संक्रमण के खत्म होने का इंतजार कर रहे हैं लेकिन कहीं से भी आशा की कोई किरण नजर नहीं आ रही है। सप्ताह दर सप्ताह लॉकडाउन की मियाद बढ़ती जा रही है। ऐसे में इस दौरान इस बारे में भी चर्चा हो रही है कि खेल का स्वरूप कोरोना से उबरने के बाद कैसा होगा। कौन कौन से नियमों और जश्न मनाने के तरीकों में बदलाव देखने को मिलेंगे।
यदि केवल क्रिकेट की बात करें तो आईसीसी गेंद को चमकाने के लिए लार और पसीने के इस्तेमाल के नियमों में बदलाव करके वेसलीन जैसे आर्टीफीशियल प्रोडक्ट के इस्तेमाल की अनुमति देने जा रहा है। इसके लिए वो सालों पुराने बॉल टेंपरिंग के नियमों में बदलाव करने का प्रस्ताव तैयार कर रहा है क्योंकि खिलाड़ियों और प्रशंसकों के स्वास्थ्य से किसी भी सूरत में खिलवाड़ नहीं किया जा सकता है। ऐसे में भारतीय टेस्ट टीम के उपकप्तान अजिंक्य रहाणे ने मैदान में विकेट गिरने पर होने वाले सेलिब्रेशन के तरीके में होने वाले बदलाव का जिक्र किया है।
नमस्ते और हाई फाइव से मनेगा मैदान पर जश्न
कोविड 19 महामारी से उबरने के बाद क्रिकेट की कल्पना करते हुए रहाणे ने बुधवार को कहा कि अब जब भी मैदान में वापसी होगी तो विकेट का जश्न मनाने के लिये खिलाड़ियों को नमस्ते और 'हाई-फाइव' (दूर से ही हाथ उठा कर दिखाना) का इस्तेमाल करना होगा। कोरोना के कारण आम जीवन शैली में आए बदलावों से क्रिकेट का मैदान अछूता नहीं रहेगा।
रहाणे ने कहा, 'मैदान में खिलाड़ियों को और ज्यादा अनुशासित रहना होगा। सामाजिक दूरी का ध्यान रखना होगा। विकेट गिरने के बाद हमें जश्न के लिए शायद नमस्ते का सहारा लेना पड़े। हम किसी भी चीज को हलके में नहीं ले सकते। विकेट गिरने पर हमें पुराने तरीके से जश्न मनाना होगा जहां हम अपनी जगह खड़े रह कर ताली बजाते हुए खुशी का इजहार करेंगे। शायद हम नमस्ते या शायद सिर्फ 'हाई फाइव' करें।'
मैदान पर वापसी के लिए लॉकडाउन के बाद लगेगा इतना वक्त
मैदान में उतरने से पहले की चुनौती के बारे में पूछे जाने पर इस बल्लेबाज ने कहा कि इसके लिए कम से कम तीन से चार सप्ताह के कड़े अभ्यास की जरूरत होगी। टीम इंडिया के लिए 65 टेस्ट, 90 एकदिवसीय और 20 टी20 अंतरराष्ट्रीय खेलने वाले इस खिलाड़ी कहा, 'मुझे लगता है किसी भी मैच (घरेलू या अंतरराष्ट्रीय) को खेलने से पहले किसी भी क्रिकेटर को मैदान और नेट पर तीन-चार सप्ताह या एक महीने का वक्त अभ्यास के लिए चाहिए होगा।'
उन्होंने लॉकडाउन के दौरान अपनी फिटनेस के बारे में चर्चा करते हुए कहा, 'मैं अभी घर पर अभ्यास कर अपनी फिटनेस पर ध्यान दे रहा हूं। मैं इसके लिए कसरत, योग-ध्यान और कराटे का सहारा ले रहा हूं। मुझे ट्रेनर से इससे संबंध में कार्यक्रम मिला है। मैं इसी के मुताबिक काम कर रहा हूं। लेकिन मुझे अपनी बल्लेबाजी की कमी महसूस हो रही लेकिन जाहिर है क्रिकेट तभी शुरू होना चाहिए जब चीजें नियंत्रित हो।'
लार-पसीने के इस्तेमाल पर ये है रुख
गेंद को चमकाने के लिए लार और पसीने के इस्तेमाल पर रोक की अटकलों के बारे में उन्होंने कहा, 'मुझे नहीं पता कि इस मामले पर आईसीसी (अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट परिषद) और दूसरे क्रिकेट बोर्ड क्या फैसला लेंगे। व्यक्तिगत तौर पर मैं इस कोविड-19 के दौर को खत्म होना का इंतजार करूंगा। जब क्रिकेट शुरू होगा तब हम सबको पता चल जाएगा क्या नियम होगा'।
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