अहमदाबादः भारतीय टीम प्रबंधन और कप्तान विराट कोहली का सिर इस समय सिर्फ एक चीज को लेकर चकरा रहा होगा। वो है टी20 मैचों के लिए शीर्ष-11 का चयन। इंग्लैंड के खिलाफ होने वाले आगामी पांच टी20 अंतरराष्ट्रीय मैचों के लिये चयन में उनको काफी दुविधा होगी। टीम इस साल घरेलू मैदान पर होने वाले टी20 विश्व कप की तैयारियां शुरू करने जा रही है।
चयन के लिये 19 खिलाड़ी उपलब्ध हैं जिसमें से प्रत्येक स्थान के लिये दो-दो दावेदार हैं और शुक्रवार से यहां शुरू होने वाले पांच टी20 मैचों के लिये अंतिम एकादश का चयन संकेत होगा कि मुख्य कोच रवि शास्त्री, कप्तान विराट कोहली और गेंदबाजी कोच भरत अरूण छोटे प्रारूप में अगले छह से सात महीने के लिये किस तरह सोच के साथ रहेंगे।
क्या वे पहले श्रृंखला जीतने के लिये और फिर प्रयोग करने के लिये तय संयोजन चुनेंगे या फिर वे खिलाड़ियों को परखने के कम अनुभवी खिलाड़ियों को मैदान पर उतारेंगे। टीम के लिये नतीजा भी मायने रखता है, इसलिये उम्मीद कर सकते हैं कि पहले तीन मैचों के लिये तय अंतिम एकादश का चयन किया जायेगा क्योंकि सभी मैच एक ही स्टेडियम में समान पिच पर होंगे।
पंत की वापसी से शीर्ष क्रम में फंसा पेंच
ऋषभ पंत की शानदार वापसी से शीर्ष क्रम में चीजें दिलचस्प हो जायेंगी। पंत के शामिल होने का मतलब है कि लोकेश राहुल को नहीं खिलाया जायेगा जो कुछ महीने पहले तक विकेटकीपर सलामी बल्लेबाज के तौर पर पहली पसंद थे। शिखर धवन और रोहित शर्मा हाल फिलहाल तक सफेद गेंद के क्रिकेट में संतुलित सलामी जोड़ी थी लेकिन राहुल के सफेद गेंद क्रिकेट के विशेषज्ञ के तौर पर उभरने से प्रतिस्पर्धा बढ़ गयी है।
धवन ने हाल में दिल्ली के लिये विजय हजारे ट्राफी में 150 रन के करीब बनाये और जब रोहित की बात आती है तो इसमें चर्चा की बात ही नहीं है। तो फिर टीम प्रबंधन राहुल को कहां फिट करेगा जो इंडियन प्रीमियर लीग के सफल सलामी बल्लेबाज रहे हैं? क्या उन्हें मध्यक्रम में रखा जायेगा क्योंकि धवन का खेल निचले क्रम के मुफीद नहीं है? ये दो मुनासिब सवाल हैं और इनके जवाब में आगे के सवाल छुपे हैं।
क्या ऐसा होगा बैटिंग ऑर्डर?
कप्तान विराट कोहली तीसरे नंबर पर आते हैं तथा पंत और आल राउंडर हार्दिक पंड्या के क्रमश: पांचवें और छठे नंबर पर बड़े शाट खेलने की उम्मीद है तो राहुल कहां फिट होंगे? उनके लिये केवल चौथा स्थान ही बचता है लेकिन श्रेयस अय्यर और सूर्यकुमार यादव भी इस स्थान के लिये स्पर्धा में हैं।
गेंदबाजी में इनको लेकर असमंजस की स्थिति
इसी तरह तेज गेंदबाजी विभाग में भुवनेश्वर कुमार लंबे समय के बाद वापसी कर रहे हैं और उनकी दीपक चाहर और शारदुल ठाकुर से प्रतिस्पर्धा होगी।
भुवनेश्वर हालांकि अपने अनुभव और डेथ ओवरों में बेहतर गेंदबाजी की वजह से चाहर से आगे रहेंगे लेकिन उन्होंने कुछ मुश्ताक अली मैचों के अलावा ज्यादा क्रिकेट नहीं खेला है।
युजवेंद्र चहल, वाशिंगटन सुंदर और अक्षर पटेल तीन स्पिनर हैं जिनके मोटेरा की पिच पर अंतिम एकादश में खिलाये जाने की उम्मीद है। वहीं टी नटराजन के पास अपनी यार्कर में विविधता की वजह से नवदीप सैनी से बेहतर मौका है। इसलिये टीम के लिये काफी अच्छे खिलाड़ी मौजूद हैं लेकिन सभी को फिट करने के लिये जगह कम जिसमें से तीन निश्चित खिलाड़ी मोहम्मद शमी, रविंद्र जडेजा और जसप्रीत बुमराह चोटों से उबर रहे हैं या आराम कर रहे हैं। और जब वे वापसी कर लेंगे तो टीम प्रबंधन के लिये चयन बड़ा सरदर्द होगा लेकिन उन्हें इससे कोई परेशानी नहीं होगी।
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