भारत के पूर्व सलामी बल्लेबाज वीरेंद्र सहवाग को विस्फोटक बल्लेबाजी के लिए जाना जाता था। वह अपने दौर के सबसे खतरनाक बल्लेबाजों में से एक थे। उन्होंने सभी फॉर्मट में तूफानी अंदाज में बल्लेबाजी की। वह शुरू से ही विपक्ष गेंदबाजों पर आक्रमण करना पसंद करते और कई बार पहली ही गेंद पर चौका लगाकर अपनी पारी की शुरुआत की। सहवाग ने सर्वश्रेष्ठ गेंदबाजों का भी बखूबी सामना किया और कई शानदार रिकॉर्ड बनाए।
2 गेंदों में 21 रन बनाने का कारनामा
कई लोग सहवाग के पहली गेंद पर बाउंड्री लगाने के प्रेम के बारे में जानते होंगे, लेकिन बहुत कम लोगों को मालूम है कि कि पूर्व बल्लेबाज ने 2 गेंदों में 21 रन बनाने का कारनामा अंजाम दे चुके हैं। ऐसा उन्होंने 13 मार्च, 2004 को पाकिस्तान के विरुद्ध वनडे मैच के दौरान पूर्व तेज गेंदबाज राणा नावेद-उल-हसन के ओवर में किया था। राणा जिस वक्त गेंदबाजी के लिए तब भारतीय पारी का 11वां ओवर था। उन्होंने नो बॉल से ओवर की शुरुआत की, जिसपर सहवाग ने चौका लगाया।
राणा ने सहवाग को 5 नो बॉल फेंकीं
वहीं, राणा ने अगली गेंद फिर नो बॉल फेंकी और इस बार भी सहवाग ने बाउंड्री जड़ दी। इसके बाद तेज गेंदबाज ने लगातार तीसरी नो बॉल डाली और सहवाग ने चौका मार दिया। राणा ने तीन नो बॉल फेंकने के बाद एक लीगल बॉल डाली, जिसमें कोई रन नहीं आया। हालांकि, गेंदबाज दोबारा लय से भटक गया और नो बॉल कर दी। सहवाग ने इस गेंद को सीमा रेखा के पार भेज दिया। पाकिस्तानी गेंदबाज यहीं नहीं रुका और फिर नो बॉल डाल दी। इस तरह सहवाग ने 2 गेंदों में 21 रन बनाए। उन्होंने बल्ले से 16 और नो बॉल के जरिए 5 रन जुटाए।
राणा नावेद-उल-हसन की शुरू में भले ही पिटाई हुई हो, लेकिन उन्होंने 11वें ओवर की अंतिम गेंदों पर तीन रन दिए। उन्होंने अपने इस ओवर में 24 रन खर्च किए। यह अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट के इतिहास में नो बॉल वाले सबसे खराब ओवरों में से एक था।
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