मंदिर के लिए नहीं दी सारी जमीन, पंचायत ने किया परिवार का बहिष्कार, 'शुद्धि' के लिए गोमूत्र पीने को कहा

Guna Panchayat: मध्य प्रदेश के गुना जिले में एक परिवार को पंचायत ने समुदाय से बहिष्कृत कर दिया क्योंकि परिवार ने मंदिर निर्माण के लिए अपनी सारी जमीन दान नहीं की थी।

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प्रतीकात्मक तस्वीर 

Guna News: मध्य प्रदेश के गुना जिले में एक स्थानीय पंचायत ने कथित तौर पर एक मंदिर के निर्माण के लिए पूरी जमीन दान नहीं करने के लिए एक परिवार को समुदाय से बहिष्कृत कर दिया। गुना के शिवाजी नगर इलाके के रहने वाले हीरा लाल घोसी ने मंगलवार को जिला कलेक्टर से संपर्क कर आरोप लगाया कि पंचायत समुदाय में वापस लौटने के लिए उन्हें सिर पर जूते रखने, दाढ़ी मुंडवाने और परिवार के सदस्यों को गोमूत्र पिलाने के लिए कह रही है।

'इंडिया टुडे' की खबर के अनुसार, घोसी ने जिला कलेक्टर को यह भी बताया कि विवाद परिवार के स्वामित्व वाली जमीन को मंदिर निर्माण के लिए देने को लेकर शुरू हुआ था। हमारे परिवार ने उक्त जमीन का कुछ हिस्सा मंदिर निर्माण के लिए दान कर दिया था, लेकिन पंचायत सदस्यों को जमीन का पूरा टुकड़ा चाहिए था। जब हमने मना किया तो हमारे परिवार को इस शर्त के साथ समुदाय से बहिष्कृत कर दिया गया कि हमारे घर कोई नहीं जाएगा और परिवार में किसी भी समुदाय के किसी व्यक्ति को शादी करने की अनुमति नहीं दी जाएगी।

जब पंचायत ने इस फरमान की घोषणा की, तब घोसी ने इस घटना को अपने फोन पर रिकॉर्ड कर लिया, जिससे पंचायत सदस्यों में और गुस्सा आया। इसके बाद परिवार पर एक और शर्त रखी गई। घोसी ने आरोप लगाया कि जमीन का पूरा टुकड़ा दान करने के अलावा, उनके परिवार को शुद्धिकरण के लिए गोमूत्र का सेवन करने और अपने जूते अपने सिर पर ले जाने के लिए कहा गया। घोसी ने कहा कि परिवार के मुखिया को भी अपनी दाढ़ी मुंडवाने के लिए कहा गया था।

पीड़ित ने कहा कि सारा विवाद उस जमीन को लेकर है जिस पर मेरा मालिकाना हक है। मैंने अपनी जमीन का कुछ हिस्सा मंदिर निर्माण के लिए दान कर दिया है लेकिन वे पूरी जमीन चाहते हैं, इससे हम भूमिहीन हो जाएंगे। घटना की पुष्टि करते हुए जिला कलेक्टर फ्रैंक नोबेल ने कहा कि घोसी ने अपनी शिकायत के साथ उनसे संपर्क किया था, जिसके बाद जांच का आदेश दिया गया। शिकायत सही पाए जाने पर कानून के तहत उचित कार्रवाई की जाएगी। 

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