लखनऊ : उत्तर प्रदेश सरकार में मंत्री स्वामी प्रसाद मौर्य ने इस्तीफा दे दिया है। मौर्य अपने समर्थकों के साथ समाजवादी पार्टी में शामिल हो सकते हैं। मौर्य की सपा प्रमुख अखिलेश यादव के साथ तस्वीर सामने आई है। मौर्य का कहना है कि यूपी की सरकार में उनकी उपेक्षा हुई। मौर्य ने कहा, 'मैंने विपरीत हालात में काम किया। इस सरकार में किसानों और बेरोजगारों की उपेक्षा हुई।' मौर्य पूर्वांचल के पड़रौना सीट से विधायक हैं। अपना कार्यकाल पूरा होने के बाद मौर्य ने अपना इस्तीफा दिया है। इस्तीफे के बाद मौर्य ने मीडिया से बातचीत में कहा कि योगी सरकार से गरीब और किसान परेशान थे। किसी राजनीतिक दल से जुड़ने से पहले वह अपने समर्थकों से बातचीत करेंगे।
मौर्य भाजपा में ओबीसी का बड़ा चेहरा माने जाते हैं। वह बहुजन समाज पार्टी को छोड़कर भाजपा में शामिल हुए थे। पूर्वांचल में मौर्य का अच्छा खासा प्रभाव माना जाता है। मौर्य का इस्तीफा भाजपा के लिए एक झटका माना जा रहा है।
समझा जाता है कि मौर्य के बाद भाजपा के कुछ और नेता सपा के साथ जा सकते हैं। मौर्य की बेटी भाजपा से लोकसभा की सांसद हैं। सूत्रों का कहना है कि मौर्य चाहते थे कि उनके बेटे सहित परिवार के सदस्यों को भाजपा से टिकट मिले लेकिन भाजपा इसके लिए तैयार नहीं थी। बताया यह भी जाता है कि मौर्य की व्यक्तिगत छवि भी पार्टी आलाकमान में अच्छी नहीं थी। उनका टिकट भी कटने वाला था। ऐसे में अपना सियासी लाभ देखते हुए उन्होंने पाला बदल दिया है।
सूत्रों का कहना है कि भाजपा के शीर्ष नेताओं को यह पहले से पता है कि मौर्य जैसे दूसरी पार्टियों से आए नेता दूसरे दलों का दामन थाम सकते हैं। आने वाले दिनों में दो एक कैबिनेट मंत्री भी भाजपा का दामन छोड़ सकते हैं। सुहेलदेव भारतीय समाज के मुखिया ओम प्रकाश राजभर ने टाइम्स नाउ नवभारत के साथ बातचीत में कहा कि शाम पांच होने वाली प्रेस कॉन्फ्रेंस तीन से चार कैबिनेट मंत्री सपा में शामिल हो सकते हैं। राजभर ने दावा किया कि करीब एक दर्जन भाजपा नेता सपा में शामिल होने जा रहे हैं।