बरेली: कानपुर हिंसा के बाद यूपी प्रशासन अलर्ट मोड पर है। बरेली में 10 जून को मुस्लिम धर्मगुरु तौकीर रजा द्वारा बुलाए गए विशाल विरोध प्रदर्शन से पहले पुलिस प्रशासन सतर्क हो गया है और एहतियात के तौर पर यहां धारा 144 के तहत कर्फ्यू लगा दिया गया है। प्रशासन के अनुसार, सार्वजनिक स्थान पर पांच से अधिक व्यक्तियों को इकट्ठा होने की अनुमति नहीं होगी। इस दौरान धरना प्रदर्शन पर भी रोक रहेगी। कानपुर हिंसा जैसी किसी अप्रिय स्थिति से बचने के लिए 3 जुलाई तक कर्फ्यू लगाया गया है।
कानपुर में शुक्रवार को कथित तौर पर बाजार बंद को लेकर विभिन्न समुदायों के दो समूहों के बीच हिंसक झड़प हो गई थी। झड़प के बाद दो लोग और एक पुलिसकर्मी घायल हो गए थे। कानपुर में यतीम खाना और परेड चौराहे के बीच भी इलाके में सुरक्षा बढ़ा दी गई है। पुलिस ने कहा कि हिंसा तब शुरू हुई जब कुछ लोगों ने दूसरे समूह द्वारा विरोध कर दुकानों को बंद करने की कोशिश की गई।
इस बीच, राज्य पुलिस ने शनिवार को कहा कि कानपुर हिंसा मामले के मुख्य आरोपी हयात जफर हाशमी को तीन अन्य मास्टरमाइंड के साथ गिरफ्तार कर लिया गया है। साजिश में शामिल चार लोगों की पहचान की गई, उन्हें ट्रैक किया गया और गिरफ्तार किया गया। कानपुर के पुलिस कमिश्नर ने कहा, 'हम जांच करेंगे कि क्या उनका पीएफआई के साथ कोई संबंध था। गैंगस्टर एक्ट और एनएसए के तहत कार्रवाई की जाएगी और उनकी संपत्तियों को जब्त कर लिया जाएगा।'
गिरफ्तार किए गए चार लोगों की पहचान हयात जाफर हाशमी, जावेद अहमद खान, मोहम्मद राहिल और मोहम्मद सुफियान के रूप में हुई है। ये सभी मौलाना अली जौहर फैन्स एसोसिएशन से जुड़े हुए हैं। उत्तर प्रदेश पुलिस ने पुष्टि की कि कानपुर में हुई हिंसा के सिलसिले में अब तक 24 लोगों को गिरफ्तार किया गया है।
कानपुर सीपी विजय सिंह मीणा ने कहा 'कुछ लोगों ने कल कानपुर में सांप्रदायिक तनाव को भड़काने की कोशिश की। पुलिस ने कार्रवाई की और स्थिति को नियंत्रित किया। 18 को कल गिरफ्तार किया गया था जबकि छह अन्य को शनिवार को गिरफ्तार किया गया। तीन एफआईआर दर्ज की गईं। अब तक कुल 36 लोगों की पहचान की गई है।'
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