नई दिल्ली: केंद्र सरकार ने कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी वाड्रा से कहा है कि वह नई दिल्ली स्थित बंगला एक महीने के भीतर खाली कर दें क्योंकि SPG सुरक्षा वापस लिए जाने के बाद वह आवासीय सुविधा पाने की हकदार नहीं हैं। आवास एवं शहरी कार्य मंत्रालय की ओर से जारी आदेश में कहा गया है कि वह 1 अगस्त तक मौजूदा आवास '35 लोधी एस्टेट' खाली कर दें और अगर ऐसा नहीं करती हैं तो उन्हें नियमों के मुताबिक किराए अथवा क्षतिपूर्ति का भुगतान करना होगा। इस बीच जानकारी मिली है कि प्रियंका गांधी जल्द ही लखनऊ शिफ्ट हो सकती हैं। उत्तर प्रदेश कांग्रेस के शीर्ष सूत्रों से Times Now को ये जानकारी मिली है।
सूत्रों के अनुसार, 'प्रियंका वैसे भी लंबे समय से लखनऊ शिफ्ट होने की योजना बना रही थी। लेकिन कोरोना वायरस महामारी के कारण लगातार लॉकडाउन के कारण इसमें देरी हुई।' माना जा रहा है कि प्रियंका राजधानी के पॉश गोखले मार्ग पर स्थित अपने करीबी रिश्तेदार और पूर्व केंद्रीय मंत्री शीला कौल के निवास स्थान पर शिफ्ट हो सकती हैं। राज्य के वरिष्ठ नेताओं की देखरेख में यहां काम चल रहा है।
इस बीच इस बात पर ध्यान की जरूरत है कि प्रियंका उत्तर प्रदेश की राजनीति में लगातार सक्रिय बनी हुई हैं और योगी सरकार पर हमला करने का कोई मौका नहीं छोड़ रही हैं। कांग्रेस नेताओं ने कहा कि प्रियंका लखनऊ में अधिक समय बिताना चाहती थीं ताकि वह पार्टी की गतिविधियों का प्रभावी समन्वय कर सकें और पार्टी कार्यकर्ताओं के लिए सुलभ हो सकें।
कांग्रेस मोदी सरकार पर हमलावर
वहीं कांग्रेस के नेताओं ने केंद्र सरकार के उस फैसले पर सवाल उठाए हैं, जिसमें प्रियंका गांधी को नई दिल्ली में सरकारी बंगला खाली करने को कहा गया है। पार्टी के मुख्य प्रवक्ता रणदीप सुरजेवाला ने कहा, 'भाजपा व मोदी सरकार की कांग्रेस नेतृत्व से अंधी नफरत तथा प्रतिशोध की भावना जग जाहिर है। अब तो वह और ओछी हरकतों व हथकंडों पर उतर आए हैं। प्रियंका जी का मकान खाली कराने का नोटिस मोदीजी-योगीजी की बेचैनी को दिखाता है। कुंठित सरकार के तुगलकी फैसलों से हम डरने वाले नहीं। प्रधानमंत्री मोदी और योगी आदित्यनाथ प्रियंका जी और कांग्रेस की आवाज को रोक नहीं पाएंगे।'
'आवाज उठाने पर हो रहे प्रियंका पर हमले'
उत्तर प्रदेश कांग्रेस कमेटी के अध्यक्ष अजय कुमार लल्लू ने इस पर ट्वीट कर कहा, 'प्रियंका गांधी जी ने भाजपा सरकार के गरीब विरोधी, रोजगार विरोधी व महिला विरोधी रवैए के विरोध में मुखर होकर आवाज उठाई है। सच सामने लाने के चलते उन पर लगातार तरह-तरह के हमले किए गए। लेकिन वो जनता की समस्याओं को उठाने के लिए और उनके निदान के लिए चट्टान की तरह अडिग हैं। एक जमाने में सरकारी मशीनरी ने इंदिरा गांधी जी को भी अलग-अलग तरीके से परेशान किया था। पहले भी सुरक्षा को खतरे के गंभीर इनपुट होने के बावजूद श्रीमती सोनिया गांधी जी, राहुल गांधी जी व प्रियंका गांधी जी से एसपीजी सुरक्षा छीनी गई थी। प्रियंका जी ने उसे सहर्ष स्वीकार किया था। भाजपा सरकार को जनता के मुद्दों, चीन से भारत की सीमाओं की सुरक्षा के मुद्दे पर जनता को जवाब देना चाहिए। प्रियंका जी जनता के मुद्दों पर संघर्ष जारी रखेंगी। अभी तो ली अंगड़ाई है आगे और लड़ाई है।'
कांग्रेस नेता राजीव शुक्ला ने कहा कि यह एक उचित कदम नहीं है क्योंकि गांधी परिवार को सुरक्षा कारणों से घर आवंटित किया गया था। इंदिरा गांधी और राजीव गांधी की हत्या कर दी गई थीं, इसलिए परिवार को हमेशा गंभीर खतरे का सामना करना पड़ता है।
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