नई दिल्ली : तीन नए कृषि कानूनों के खिलाफ राष्ट्रपति राम नाथ कोविंद से मिलने के बाद कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने केहा कि उन्होंने राष्ट्रपति को बताया कि ये कानून किसान विरोधी हैं। राहुल ने कहा कि वह प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को बताना चाहते हैं कि जब तक ये कानून रद्द नहीं होंगे तब तक किसान अपना आंदोलन वापस नहीं लेंगे। विपक्ष किसान और मजदूरों के साथ खड़ा है। कांग्रेस नेता ने मोदी सरकार पर तीखा हमला करते हुए कहा कि 'आपकी कल्पना में लोकतंत्र हो सकता है लेकिन वास्तविकता है कि देश में लोकतंत्र नहीं है।'
राहुल ने आरोप लगाया कि मोदी सरकार क्रोनी कैपट्लिस्टों के लिए पैसे बनाने का उपाय कर रही है। जो कोई भी चाहे वे किसान हों, मजदूर हों या यहां तक कि मोहन भागवत हों, उनके खिलाफ खड़ा हो रहा है उन्हें 'आतंकवादी' कहा जा रहा है। प्रियंका गांधी ने कहा कि किसानों के लिए भाजपा नेता जिस प्रकार के शब्दों का इस्तेमाल कर रहे हैं वह एक तरह से 'पाप' है।
विरोध की आवाज दबा रही सरकार-प्रियंका
इसस पहले राष्ट्रपति भवन तक कांग्रेस के मार्च को दिल्ली पुलिस ने रोक दिया। पुलिस कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी सहित अन्य नेताओं को हिरासत में लिया और फिर उन्हें मंदिर मार्ग पुलिस स्टेशन ले गई। मार्च रोके जाने के बाद प्रियंका ने कहा कि सरकार के खिलाफ विरोध के आवाज को दबाया जा रहा है। हम किसानों के समर्थन में यह मार्च निकाल रहे हैं। इस मार्च से पहले दिल्ली पुलिस ने कहा कि वह केवल उन्हीं नेताओं को राष्ट्रपति भवन जाने की अनुमति देगी जिनका राष्ट्रपति कार्यालय से पहले से अनुमति मिली होगी।
मार्च निकालने से पहले राहुल ने कांग्रेस मुख्यालय पर पार्टी के वरिष्ठ नेताओं एवं सांसदों से मुलाकात की। इस बैठक के बाद कांग्रेस नेता शशि थरूर ने कहा कि हम राष्ट्रपति भवन तक मार्च करेंगे। इस मार्च पर चाणक्यपुरी की एसीपी प्रज्ञा ने कहा कि राष्ट्रपति भवन से जिन नेताओं की अनुमति मिली होगी केवल उन्हीं नेताओं को राष्ट्रपति भवन तक जाने दिया जाएगा। ॉ
पंजाब में ट्रैक्टर रैली कर चुके हैं राहुल
इन कानूनों के खिलाफ राहुल गांधी पहले भी किसानों के साथ आ चुके हैं। इन कानूनों का विरोध करने के लिए कुछ समय पहले कांग्रेस नेता पंजाब पहुंचे थे और वहां पर ट्रैक्टर रैली की। तीन नए कृषि कानूनों को खत्म करने के लिए कांग्रेस ने गत सितंबर में किसानों से हस्ताक्षर लेने शुरू किए। कांग्रेस नेता केसी वेणुगोपाल ने मंगलवार को कहा, 'सरकार किसानों की चिंता नहीं कर रही है। मोदी सरकार और उनके मंत्री किसानों का अपमान कर रहे हैं।'
दिल्ली की सीमाओं पर जारी है किसानों का प्रदर्शन
कृषि कानूनों के खिलाफ हजारों की संख्या में किसान दिल्ली की सीमाओं पर गत 26 नवंबर से प्रदर्शन कर रहे हैं। किसानों की मांग इन कानूनों को रद्द करने की है। इसे लेकर सरकार और किसानों के बीच पांच दौर की वार्ता हो चुकी है लेकिन अभी इस समस्या का हल नहीं निकल सका है। सरकार और किसानों के बीच कुछ दिनों में अगले दौर की वार्ता हो सकती है।
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