Assam Flood 20th july 2020: असम में बाढ़ की स्थिति गंभीर, अब तक 111 लोगों की मौत, लाखों लोग विस्थापित

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Updated Jul 20, 2020 | 22:54 IST

Assam flood latest news: असम में बाढ़ से मरने वालों की संख्या 111 हो गई है। जिसमें 85 लोगों की मौत सिर्फ बाढ़ से हुई है।

Assam Flood 20th july 2020: असम में बाढ़ की स्थिति गंभीर, अब तक 111 लोगों की मौत, लाखों लोग विस्थापित
बाढ़ से बेहाल असम 
मुख्य बातें
  • असम में बाढ़ और भूस्खलन से 111 लोगों की मौत
  • राज्य के 24 जिले बाढ़ से बुरी तरह प्रभावित, लाखों लोग विस्थापित
  • राज्य सरकार ने बाढ़ पीड़ितों को हरसंभव मदद की दिया भरोसा

गुवाहाटी। असम में बाढ़ की स्थिति गंभीर बनी हुई है। बाढ़ में एक और व्यक्ति की जान चली गई, जिससे राज्य के 24 जिलों में 24 लाख से अधिक लोग प्रभावित हुए हैं। एक आधिकारिक बुलेटिन में यह जानकारी दी गई।असम राज्य आपदा प्रबंधन प्राधिकरण (एएसडीएमए) की दैनिक बाढ़ रिपोर्ट के अनुसार, कामरूप महानगर जिले में गुवाहाटी के पास सोनापुर में एक व्यक्ति की मौत हो गई।

बाढ़ और भूस्खलन से 111 की मौत
इस साल राज्य भर में बाढ़ और भूस्खलन में जान गंवाने वालों की कुल संख्या 111 हो गई है, जिनमें से 85 लोग बाढ़ से संबंधित घटनाओं में मारे गए और 26 लोगों की जान भूस्खलन में चली गई।एएसडीएमए ने कहा कि धेमाजी, लखीमपुर, बिश्वनाथ, दर्रांग, बक्सा, नलबारी, बारपेटा, चिरांग, बोंगईगांव, कोकराझार, धुबरी, दक्षिण सलमारा, गोलपारा, कामरूप, कामरूप महानगर, मोरीगांव, नगांव, गोलाघाट, जोरहाट, माजुली, शिवसागर, डिब्रूगढ़, तिनसुकिया और कछार जिलों में बाढ़ से 24.3 लाख से अधिक लोग प्रभावित हुए हैं।गोलपारा में सबसे अधिक 4.59 लाख से अधिक लोग बाढ़ से प्रभावित हैं, इसके बाद बारपेटा में 3.37 लाख से अधिक लोग और मोरीगांव में लगभग 3.35 लाख लोग प्रभावित हैं।

राज्य आपदा प्राधिकरण की तरफ से बचाव कार्य तेज
राज्य आपदा प्रतिक्रिया बल (एसडीआरएफ), जिला प्रशासन और स्थानीय लोगों ने राज्य भर में 125 नौकाओं से पिछले 24 घंटों के दौरान 291 लोगों को बचाया है।रविवार तक 24 जिलों में 25.29 लाख से अधिक लोग जलप्रलय से प्रभावित थे।क्षेत्रीय मौसम विज्ञान केंद्र ने मंगलवार को असम और मेघालय के अधिकांश स्थानों पर बहुत भारी बारिश की आशंका जताई है।इस बीच, असम के मुख्यमंत्री सर्बानंद सोनोवाल ने बारपेटा जिले में पाहुमरा नदी की बाढ़ से प्रभावित गोहिनपारा क्षेत्र का दौरा किया और वहां बाढ़ से तबाह हुए दौल गोसाईं स्थान (धार्मिक स्थल) और बामखता-केंदुगुरी सड़क का जायजा लिया।
एक आधिकारिक विज्ञप्ति में कहा गया है कि उन्होंने जल संसाधन मंत्री को निर्देश दिया कि पाहुमरा नदी का वैज्ञानिक अध्ययन करने के बाद क्षेत्र में बाढ़ और कटाव का स्थायी समाधान निकाला जाए।



हर साल 9 हजार हेक्टेअर जमीन बाढ़ से बर्बाद
बाद में पत्रकारों से बात करते हुए सोनोवाल ने कहा कि राज्य में हर साल बाढ़ और कटाव से तबाही होती है क्योंकि हर साल लगभग 9,000 हेक्टेयर भूमि इससे बर्बाद हो जाती है।उन्होंने संवाददाताओं से कहा कि केंद्र सरकार पड़ोसी देश भूटान के साथ बाढ़ के मुद्दे को उठाएगी, जहां से हर साल राज्य में बाढ़ का पानी आता है, जिससे तबाही होती है।मुख्यमंत्री ने कहा कि सभी जिलों के उपायुक्तों को बाढ़ प्रभावित लोगों के लिए राहत सामग्री, चिकित्सा सुविधा और पशुओं के लिए चारे की उपलब्धता सुनिश्चित करने के लिए निर्देशित किया गया है।

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