नई दिल्ली: मध्य प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री और राज्यसभा सदस्य दिग्विजय सिंह (Digvijay Singh) ने राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (RSS) की तुलना दीमक से की है। इंदौर में युवक कांग्रेस के कार्यक्रम में पूर्व मुख्यमंत्री सिंह ने आरएसएस पर हमला करते हुए कहा, 'आप ऐसे संगठन से लड़ रहे हैं, जो ऊपर से नहीं दिखता। जैसे घर में दीमक लगती है, यह उसी तरह से काम करता है।'
पूर्व मुख्यमंत्री दिग्विजय सिंह ने कहा, 'मैं समझता हूं कि जब यह कहूंगा, तो सबसे ज्यादा गालियां खाऊंगा, क्योंकि मैंने आरएसएस की तुलना दीमक से की है।'
उन्होंने कहा कि संघ रजिस्टर्ड संस्था नहीं है। इसकी सदस्यता नहीं है, कोई अकाउंट नहीं है। संघ का कोई कार्यकर्ता जब आपराधिक कृत्य में पकड़ा जाता है, तो वे कहते हैं कि हमारा सदस्य ही नहीं है। यह ऐसा संगठन है, जो गुपचुप और छुपकर काम करता है। ये लोग केवल कानाफूसी करते हैं और गलत भावना फैलाते हैं। कभी आंदोलन नहीं करते और न ही किसी की समस्या के लिए लड़ते हैं।
उन्होंने सीधे तौर पर संघ पर हमला करते हुए कहा, 'आरएसएस की विचारधारा नफरत की है। हिंदुओं को खतरा दिखाकर डर पैदा करो और डर पैदा करके बताओ कि हम ही तुम्हारी रक्षा कर सकते हैं, बाकी कोई नहीं कर सकता। आज जब राष्ट्रपति से लेकर नीचे तक के पदों पर हिंदू हैं, तो फिर खतरा किससे है?'
कांग्रेस नेता दिग्विजय सिंह ने सोमवार को उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के '80 बनाम 20 प्रतिशत' भाषण की जोरदार निंदा करते हुए आरोप लगाया कि यह आदर्श आचार संहिता का उल्लंघन है।श्री सिंह पूर्व गृह सचिव संजीव गुप्ता के एक ट्वीट पर प्रतिक्रिया दे रहे थे, जिन्होंने एक टीवी चैनल पर प्रसारित आदित्यनाथ की उस टिप्पणी पर प्रतिक्रिया दी थी जिसमें श्री योगी कह रहे थे कि इस बार उत्तर प्रदेश चुनाव लगभग '80 प्रतिशत बनाम 20 प्रतिशत' होंगे ।उत्तर प्रदेश विधानसभा चुनाव सात चरणों में होने हैं और पहले चरण में 10 फरवरी को होने वाले मतदान के लिए अधिसूचना 14 जनवरी को जारी की जानी है। हालांकि, टीवी चैनल द्वारा प्रसारित क्लिप में यह स्पष्ट नहीं था कि आदित्यनाथ कहां और किस संदर्भ में बोल रहे थे।
गौरतलब है कि राजनीतिक दलों और उम्मीदवारों के मार्गदर्शन के लिए आदर्श आचार संहिता के सामान्य आचरण हेतु बिंदु 1 में उल्लेख किया गया है: कोई भी पार्टी या उम्मीदवार किसी भी गतिविधि में शामिल नहीं होगा जो मौजूदा मतभेदों को बढ़ा सकता है या आपसी नफरत पैदा कर सकता है या विभिन्न जातियों और समुदायों, धार्मिक या भाषाई के बीच तनाव पैदा कर सकता है।
श्री गुप्ता ने कहा कि उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री की टिप्पणी मौजूदा मतभेदों को बढ़ाने या आपसी नफरत पैदा करने के समान है। उन्होंने यह भी ट्वीट किया- मैंने अपने करियर के दौरान एमसीसी के कई मामलों को देखा है लेकिन लेकिन यह शब्दों से परे है। मैं भी इस तरह की शब्दावली के इस्तेमाल से हैरान हूं। दिग्विजय सिंह ने श्री गुप्ता के ट्वीट पर प्रतिक्रिया देते हुए कहा केंद्रीय चुनाव आयोग के माननीय अध्यक्ष और कुछ सदस्यों, उठो और कुछ साहस दिखाओ ,जरा देखो कि योगी और उनका विज्ञापन अभियान क्या पेश कर रहा है।
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