गोवा के राज्यपाल सत्यपाल मलिक की नई मांग-राम दरबार में लगे केवट और शबरी की भी प्रतिमा  

देश
आलोक राव
Updated Nov 22, 2019 | 11:31 IST

Satya Pal Malik on Ram Mandir Ayodhya : गोवा के राज्यपाल सत्यपाल मलिक ने कहा है कि अयोध्या में राम दरबार में केवट और शबरी की भी मूर्तियां लगनी चाहिए। उन्होंने कहा है कि वह इस बारे में पत्र लिखेंगे।

Goa governor Satya Pal Malik demands Kevat and Shabri idols at Ram Darbar in Ayodhya, गोवा के राज्यपाल सत्यपाल मलिक की नई मांग-राम दरबार में लगे केवट और शबरी की भी प्रतिमा
Ram Mandir : सत्यपाल मलिक ने राम दरबार में शबरी और केवट की मूर्तियां लगाने की मांग की।  |  तस्वीर साभार: ANI
मुख्य बातें
  • जम्मू-कश्मीर के बाद गोवा के राज्यपाल बनाए गए हैं सत्यपाल मलिक
  • मलिक ने कहा कि राम दरबार में लगे केवट और शबरी की भी मूर्ति
  • सुप्रीम कोर्ट ने नौ अगस्त को अयोध्या पर सुनाया ऐतिहासिक फैसला

पणजी : गोवा के राज्यपाल सत्यपाल मलिक ने राम मंदिर के निर्माण पर बड़ा बयान दिया है। मलिक ने गुरुवार को कहा कि पूरा देश अयोध्या में राम मंदिर निर्माण के बारे में बातें कर रहा है लेकिन किसी ने यह मांग नहीं की है कि अयोध्या में उन लोगों के लिए भी जमीन आवंटित होनी चाहिए जिन्होंने भगवान राम के 14 साल के वनवास में उनका साथ दिया। राज्यपाल ने कहा कि राम दरबार में केवट और शबरी की मूर्तियां भी स्थापित करने की मांग उठनी चाहिए।

राज्यपाल मलिक ने कहा, 'पूरा देश अयोध्या में एक भव्य राम मंदिर के निर्माण के बारे में बातें कर रहा है लेकिन किसी ने यह मांग नहीं की है कि भगवान राम के वनवास के दौरान जिन लोगों ने उनका साथ दिया उनके नाम पर भी जमीन का आवंटन होना चाहिए। मैं चाहता हूं कि लोग केवट और शबरी की मूर्तियों को राम दरबार में स्थापित करने की मांग उठाएं।'

उन्होंने कहा, 'राम मंदिर के निर्माण के लिए जिस दिन ट्रस्ट का गठन हो जाएगा उस दिन मैं भगवान राम की लड़ाई में उनका साथ देने वाले लोगों की मूर्तियां स्थापित करने के लिए एक अनुरोध पत्र लिखूंगा। इन लोगों की मूर्तियां स्थापित करना सच्चे भारत की पहचान होगी।' 

बता दें कि सुप्रीम कोर्ट ने गत 9 नवंबर को अपने ऐतिहासिक फैसले में सैकड़ों वर्षों से चले आ रहे अयोध्या विवाद का अंत कर दिया। शीर्ष अदालत ने अयोध्या की 2.77 एकड़ की विवादित जमीन राम लला विराजमान को आवंटित करने का आदेश दिया। कोर्ट ने इस टाइटिल सूट में निर्मोही अखाड़ा और उत्तर प्रदेश सुन्नी वक्फ बोर्ड के दावे को खारिज कर दिया। साथ ही मुस्लिम पक्ष के लिए विवादित जमीन से अलग पांच एकड़ भूमि आवंटित करने का फैसला सुनाया।

सुप्रीम कोर्ट ने राम मंदिर निर्माण के लिए सरकार को तीन महीने के अंदर एक ट्रस्ट का गठन करने का निर्देश दिया है। यह ट्रस्ट विवादित जमीन पर राम मंदिर निर्माण से जुड़ी प्रक्रिया एवं नियम तय करेगा। सुप्रीम कोर्ट के इस ऐतिहासिक फैसले को यूपी सुन्नी वक्फ बोर्ड सहित कई मुस्लिम संगठनों ने स्वीकार कर लिया है। जबकि ऑल इंडिया मुस्लिम पर्सनल लॉ बोर्ड (एआईएमपीएलबी) ने अयोध्या फैसले पर समीक्षा याचिका दायर करने का फैसला किया है।

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