नई दिल्ली: शिवसेना सांसद संजय राउत को प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने फिर तलब किया है। ईडी ने उन्हों मनी लॉन्ड्रिंग मामले में समन जारी करते हुए 27 जुलाई को पेश होने को कहा है। उन्हें नया समन जारी कर मुंबई में पूछताछ के लिए बुलाया है। राज्यसभा सांसद राउत ने किसी भी अनियमितताओं से इनकार किया है और आरोप लगाया कि उन्हें राजनीतिक प्रतिशोध के कारण निशाना बनाया जा रहा है। राउत शिवसेना के उद्धव ठाकरे खेमे में हैं।
ईडी ने शिवसेना सांसद संजय राउत को मुंबई की एक चॉल के पुनर्विकास में कथित अनियमितताओं और उनकी पत्नी तथा सहयोगियों के वित्तीय लेनदेन से जुड़े मनी लॉन्ड्रिंग के एक मामले में फिर से पूछताछ के लिए बुधवार को तलब किया। राउत को एजेंसी के मुंबई ऑफिस में पेश होने के लिए कहा गया। इस मामले में 1 जुलाई को राउत से पूछताछ की गई थी।
जांच अधिकारियों ने राउत से करीब 10 घंटे तक पूछताछ की थी और धन शोधन निवारण अधिनियम (पीएमएलए) की आपराधिक धाराओं के तहत उनका बयान दर्ज किया था। राउत ने एजेंसी के ऑफिस से बाहर निकलते समय पत्रकारों से कहा था कि मैंने पूरा सहयोग दिया और उनके सभी सवालों का जवाब दिए। अगर वे मुझे बुलाएंगे तो मैं फिर हाजिर होऊंगा। राउत ने कहा था कि उन्हें कोई डर नहीं है, क्योंकि उन्होंने जीवन में कुछ भी गलत नहीं किया।
शिवसेना में बगावत के बीच यह घटनाक्रम सामने आया है, जिसमें एक तरफ महाराष्ट्र के पूर्व मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे और दूसरी तरफ वर्तमान मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे के बीच पार्टी के चुनाव चिह्न और संगठन के नियंत्रण को लेकर विवाद है। प्रवर्तन निदेशालय ने अप्रैल में जांच के तहत राउत की पत्नी वर्षा राउत और उनके दो सहयोगियों की 11.15 करोड़ रुपए से अधिक की संपत्ति को अस्थायी रूप से कुर्क किया था।
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