नई दिल्ली। क्या राजस्थान में राजनीतिक संकट खत्म हो चुका है। क्या अशोक गहलोत के सामने किसी तरह की दिक्कत नहीं है। अगर देखा जाए तो इसका जवाब यह हो सकता है कि अब सचिन पायलट न तो सरकार के हिस्सा हैं और न ही प्रदेश कांग्रेस के अध्यक्ष। ऐसे में गहलोत के सामने मुश्किल नहीं है। लेकिन राजनीति में कामयाबी या नाकामी स्थाई नहीं होती है, ऐसे में एक तरफ सचिन पायलट के लिए कांग्रेस के दरवाजे खुले हैं तो नसीहत भी दी जा रही है। राहुल गांधी ने एनएसयूआई की बैठक में जो कुछ कहा वो खास है।
राहुल गांधी का खास ट्वीट
राहुल गांधी ने कहा कि जो लोग पार्टी छोड़कर बाहर जाने का मन बना चुके होंगे वो पार्टी छोड़कर जाएगा। इसके जरिए आप जैसे युवा नेताओं को मौका मिलता है। अब इसके कई अर्थ हैं क्या कांग्रेस आलाकमान यह मन बना चुका है कि जो लोग अब पार्टी के बाहर जाएंगे उन्हें मनाने की कोशिश नहीं की जाएगी या एक तरह से उन लोगों के लिए संदेश है कि फैसले पर पुनर्विचार करना चाहिए।
सचिन पायलट डिप्टी सीएम से हटाए गए
मंगलवार को जब जयपुर में सचिन पायलट के बारे में ऐलान हुआ कि अब वो राज्य के डिप्टी सीएम और प्रदेश कांग्रेस के अध्यक्ष नहीं हैं तो उनके समर्थन में कांग्रेस के कुछ युवा नेताओं ने आवाज उठाई। यूपी कांग्रेस से जितिन प्रसाद ने कहा कि यह दुख की बात है लेकिन कोई भी इस तरह की रवैया नहीं अख्तियार करता है। कहीं न कहीं कुछ दिक्कत तो रही होगी जिसकी वजह से असंतोष की बात सामने आई होगी।
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