पीएम मोदी बोले- कोरोना काल में भी यूपी ने विकास की रफ्तार धीमी नहीं होने दी, सोनभद्र में 'हर घर नल योजना' शुरू

पीएम मोदी ने आज सोनभद्र में वर्चुअल माध्यम से 'हर घर नल योजना' का शुभारंभ किया, कार्यक्रम में उन्होंने सीएम योगी के प्रदेश में किए गए विकास कार्यों की खासी तारीफ भी की।

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पीएम मोदी ने आज सोनभद्र में वर्चुअल माध्यम से 'हर घर नल योजना' का शुभारंभ किया 
मुख्य बातें
  • सोनभद्र और मिरजापुर में 5555 करोड़ रुपए की लागत से बने हर घर नल योजना
  • सोन, गंगा, बेलन, कर्मनाशा और शिप्रा जैसी नदियां होने के बाद भी बुंदेलखंड सूखा प्रभावित है
  • पीएम मोदी ने मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ और उनकी टीम को दी बधाई

लखनऊ/सोनभद्र:प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा कि यूपी सरकार ने कोरोना काल में भी विकास कार्यों की रफ्तार धीमी नहीं होने दी, यह खुद में बहुत बड़ी बात है। लाखों प्रवासियों को घर पहुंचाने के साथ-साथ उनको रोजगार उपलब्ध कराया। इसके लिए उन्होंने मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ और उनकी टीम को बधाई दी। उन्होंने कहा कि जल जीवन मिशन एक महत्वाकांक्षी योजना है। इससे जल प्रबंधन और रखरखाव बढ़ेगा। मिरजापुर सौर उर्जा का केंद्र बन रहा है। यहां की जल समस्या को दूर करने के लिए सरकार ने जो कदम उठाए हैं, उससे साफ पता चलता है कि सरकार सिर्फ लोगों की परेशानियों को समझती ही नहीं, बल्कि उसे दूर करने का काम भी करती है। 

यह बातें उन्होंने आज सोनभद्र में वर्चुअल माध्यम से हर घर नल योजना के शुभारंभ कार्यक्रम के दौरान कही। उन्होंने कोरोना काल में यूपी सरकार के विकास कार्यों की जमकर तारीफ की। उन्होंने कहा कि 5555 करोड़ रुपए की हर घर नल योजना से तीन हजार गांवों के 41 लाख लोगों को सीधे नल से पानी मिलेगा, जो एक बहुत बड़ी उपलब्धि है। सोन, गंगा, बेलन, कर्मनाशा और शिप्रा जैसी नदियां होने के बाद भी बुंदेलखंड सूखा प्रभावित रहा है।

पानी की कमी के चलते यहां से पलायन भी हुआ। सरकार ने बुंदेलखंड और विंध्य क्षेत्र के हर घर तक नल से पानी पहुंचाने का काम शुरू किया है,वह बहुत ही सराहनीय है। उन्होंने सोनभद्र जिले की 14 और मीरजापुर जिले की नौ पेयजल परियोजनाओं का शुभारंभ किया। इस योजना से बुंदेलखंड के सूखाग्रस्त इलाकों में रहने वाले लोगों को सीधे नल से पानी मिलेगा।

यूपी सरकार ने पाया इंसेफेलाइटिस पर काबू
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा कि उत्तर प्रदेश सरकार ने इंसेफेलाइटिस पर जो काबू पाया है, वह बहुत ही सराहनीय है। विशेषज्ञ भी सरकार की प्रयासों की तारीफ कर रहे हैं। सरकार को मासूम बच्चों के परिवारीजनों से जो आशीर्वाद मिल रहा है, उसका अंदाजा भी नहीं लगाया जा सकता है।

विंध्य क्षेत्र के लिए आज बड़े उत्सव का दिन: मुख्यमंत्री
कार्यक्रम में मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा कि आजादी के 70-72 वर्षों में विंध्य क्षेत्र के महज 398 गांवों में ही पेयजल की सुविधा मिल सकी है। आज एक साथ करीब 3,000 गांवों में शुद्ध पेयजल की आपूर्ति के लिए काम शुरू हो रहा है, यह ऐतिहासिक है। आज का दिन विंध्य क्षेत्र के लिए किसी दीपावली, विजयादशमी और छठ जैसे पर्व से कम नहीं है। शुद्ध पेयजल का अर्थ है, बीमारियों से मुक्ति और आज सोनभद्र और मिर्जापुर जनपद के 3,000 गांवों के लोगों को बीमारियों से मुक्ति देने का शिलान्यास हो रहा है।

अगले डेढ़-दो वर्ष में इस क्षेत्र में पेयजल की समस्या का अंत हो जाएगा। 1917 में निर्मित सोनभद्र का धनरौल डैम प्रचुर जलराशि से सम्पन्न है। अब तक इसका प्रयोग केवल सिंचाई में होता था, अब शोधन कर हम इसे पेयजल के रूप में उपलब्ध कराएंगे।

विकास सबका-तुष्टीकरण किसी का नहीं: सीएम
सीएम योगी ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने 'सबका साथ-सबका विकास' का जो मंत्र 2014 में लिया था, आज केंद्र और राज्य की सरकारें उसे चरितार्थ कर रही हैं। विकास सबका-तुष्टीकरण किसी का नहीं, यह हमारा सूत्र है। आज सरकार बिना भेदभाव विकास कर रही है। जनता का हित ही देश और प्रदेश का हित है। 

हम अपनी हर छोटी-बड़ी खूबियों की ब्रान्डिंग करेंगे: योगी
सीएम ने कहा कि आजादी के बाद पहली बार इतनी बड़ी परियोजना विंध्य क्षेत्र में शुरू हो रही है। यह क्षेत्र प्राकृतिक संसाधनों से परिपूर्ण है। पर्यटन विकास की असीम संभावनाओं को देखते हुए यहां हवाई पट्टी का विस्तार हो रहा है। सोनभद्र में योगिराज मत्स्येंद्रनाथ जी की साधनास्थली का जिक्र करते हुए सीएम ने कहा कि हजारों वर्षों से यह साधना स्थली लोगों में चेतना जागृत करने का केंद्र है।

उन्होंने कहा कि सोनभद्र जिला प्रशासन यहां की खूबियों पर एक कॉफी टेबल बुक तैयार कर रहा है। हम अपनी हर छोटी-बड़ी खूबियों की ब्रान्डिंग करेंगे, यह रोजगार सृजन का भी आधार बनेगा। 

जनजातियों के सर्वांगीण विकास के लिए अनेक योजनाएं चला रही सरकार: सीएम
मुख्यमंत्री ने कहा कि सोनभद्र जनजाति बाहुल्य क्षेत्र है। अगर इसे जनजातियों की उत्पत्ति का स्थल कहें, तो गलत नहीं होगा। राज्य सरकार जनजाति जनों के सर्वांगीण विकास के लिए अनेक योजनाएं चला रही है। पीएम आवास, मुख्यमंत्री आवास, आयुष्मान भारत जैसे प्रयासों ने लोगों का जीवन सुलभ किया है।
 

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