नई दिल्ली : फिरौती केस में मुंबई के पूर्व पुलिस कमिश्नर परमबीर सिंह को सुप्रीम कोर्ट से राहत मिली है। शीर्ष अदालत ने सोमवार को उनकी गिरफ्तारी पर रोक लगा दी। साथ ही अगले 48 घंटे के भीतर उन्हें केंद्रीय जांच ब्यूरो (सीबीआई) के सामने पेश होने के लिए कहा। परमबीर सिंह ने महाराष्ट्र के गृह मंत्री अनिल देशमुख के खिलाफ 100 करोड़ रुपए की वसूली का आरोप लगाया था। इसके बाद परमबीर सिंह के खिलाफ दो जगहों पर वसूली के केस दर्ज हुए थे जिसके बाद से वह फरार थे। मुंबई की निचली अदालत ने उन्हें भगोड़ा घोषित कर रखा है। इससे पहले सुप्रीम कोर्ट ने परमबीर सिंह के वकील से कहा था कि जब तक उसे यह नहीं बताया जाएगा कि मुंबई के पूर्व पुलिस कमिश्नर कहां हैं, तब तक वह इस मामले की सुनवाई नहीं करेगा।
सोमवार को अदालत ने सिंह को गिरफ्तारी से राहत देते हुए उन्हें जांच में सहयोग करने का आदेश दिया। सुनवाई के दौरान सिंह के वकील ने कोर्ट को बताया कि उनके मुवक्किल देश में ही हैं। परमबीर सिंह के वकील ने अदालत को बताया, 'वह कानून से बचना नहीं चाहते। दरअसल, महाराष्ट्र में उनकी जान को खतरा है।' वकील ने कोर्ट से कहा कि कोर्ट अगर चाहे तो परमबीर सिंह 48 घंटे के भीतर सीबीआई के सामने पेश होने के लिए तैयार हैं।
सिंह की तरफ से पेश उनके वकील ने कोर्ट से कहा, 'मैंने कुछ गलत किया है, मैं यह संदेश नहीं देना चाहता। न्यायपालिका में मुझे पूरा भरोसा है। कृपया मुझे सुरक्षा दी जाए। मैं पुलिस का वरिष्ठ अफसर हूं, मैं भागूंगा नहीं।' वसूली केस में गिरफ्तार अनिल देशमुख जेल में हैं। सिंह ने देशमुख पर आरोप लगाया है कि उन्होंने सहायक पुलिस निरीक्षक सचिन वाजे को मुंबई के रेस्तरां एवं पब से 100 करोड़ रुपए की वसूली करने के लिए कहा था। मुंबई पुलिस ने वाजे को सेवा से बर्खास्त कर दिया है।
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