Ayodhya : SC ने ASI की रिपोर्ट को बनाया आधार, खुदाई में मिले 263 अवशेष करते हैं इसकी पुष्टि

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Updated Nov 10, 2019 | 09:05 IST | टाइम्स नाउ डिजिटल

Ayodhya verdict: सुप्रीम कोर्ट ने पुरातत्व विभाग (एएसआई) के रिपोर्ट को अयोध्या मामले में फैसले का आधार माना। एएसआई की रिपोर्ट के मुताबिक खुदाई में मिले 263 अवशेष अयोध्या में मंदिर की पुष्टि करते हैं।

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अयोध्या मंदिर फैसला 
मुख्य बातें
  • सुप्रीम कोर्ट ने एएसआई की रिपोर्ट को बनाया अयोध्या पर फैसले का आधार
  • एएसआई की रिपोर्ट में मिले 263 अवशेष वहां मंदिर होने की करते हैं पुष्टि
  • SC ने रिपोर्ट के हवाले से बताया विवादित मस्जिद पहले से मौजूद किसी संरचना पर बनी है

नई दिल्ली : सुप्रीम कोर्ट ने शनिवार को अयोध्या मामले पर फैसला सुनाते हुए स्पष्ट रुप से कहा कि विवादित राम जन्मभूमि पर (भारतीय पुरातत्व सर्वेक्षण) एएसआई की खुदाई में जो अवशेष मिले हैं वे अयोध्या में मंदिर होने की पुष्टि करते हैं। खुदाई की अवशेष में जो सामने आए हैं उससे संकेत मिलता है कि अंदर जो संरचना है वह 12वीं सदी की हिंदू धार्मिक मूल की थी। 

इलाहाबाद हाई कोर्ट ने 23 अक्टूबर, 2002 को एएसआई को विवादित जमीन पर खुदाई कर वैज्ञानिक जांच का काम सौंपा था जिसमें मंदर की मौजूदगी के कई ऐतिहासिक साक्ष्य मिले। एएसआई की इसी रिपोर्ट पर आज सुप्रीम कोर्ट ने सदियों पुराने विवाद में ऐतिहासिक फैसला सुनाया।

चीफ जस्टिस रंजन गोगोई के नेतृत्व में पांच सदस्यीय ए एस बोबड़े, डीवाई चंद्रचूड़, अशोक भूषण और एसए नजीर की संवैधानिक पीठ ने आम सहमति से अयोध्या मामले पर फैसला सुनाया और राम मंदिर के निर्माण का रास्ता साफ कर दिया।

पीठ ने अपनी सुनवाई में कहा कि बहुस्तरीय खुदाई के दौरान स्थल पर एक गोलाकार संरचना सामने आयी जिसमें मंदिर के उपर कमल के फूल का चिन्ह और अभिषेक जल बाहर निकालने वाली ‘मकर प्रणाली’ का अवशेष मिला था, जिससे संकेत मिलता है कि आठवीं से दसवीं सदी के बीच हिन्दू वहां पूजा-पाठ करते थे। बता दें कि एएसआई की खुदाई में सामने आए इस रिपोर्ट के बाद उन्हें काफी धमकियां भी मिली थी

जजों की पीठ ने कहा, ‘खुदाई में अंदर पाई गई संरचना की प्रकृति इस बात का संकेत देती है कि 11वीं-12 वीं सदी के आसपास यहां हिंदू मंदिर रहे थे और यहां पूजा पाठ भी हुआ करती था।’ विवादित ढांचे की खुदाई में कुल 263 अवशेष मिले थे जिनके आधार पर पुरातत्व विभाग इस निष्कर्ष पर पहुंचा था किसी जमाने में यहां एक मंदिर था।

न्यायालय ने कहा, ‘एएसआई की खुदाई ने पहले से मौजूद 12वीं सदी की संरचना की मौजूदगी की पुष्टि की है। संरचना विशाल है और उसके 17 लाइनों में बने 85 खंभों से इसकी पुष्टि भी होती है।’

पीठ ने कहा कि एएसआई की खुदाई से यह भी पता चला कि विवादित मस्जिद पहले से मौजूद किसी संरचना पर बनी है। सुप्रीम कोर्ट के फैसले पर एएसआई के पूर्व चेयरमैन के के मोहम्मद ने कहा कि भारतीय पुरातत्व सर्वेक्षण विभाग ने खुदाई में मिले एक एक संरचना की गहराई से जांच पड़ताल की थी और पाया कि विवादित जमीन पर बड़ा मंदिर था। स्तंभों के ऊपर जो नक्काशियां मिली थीं उनका इस्लामिक शैली से दूर दूर तक रिश्ता नहीं था।

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