लखनऊ : राम मंदिर में भूमि पूजन के बाद पॉपुलर फ्रंट ऑफ इंडिया (पीएफआई) के मीडिया प्रभारी के अतिरिक्त तीन लोगों को सोशल मीडिया पर भड़काऊ पोस्ट करने के आरोप में गिरफ्तार किया गया है। इनमें सोशल डेमोक्रेटिक पार्टी ऑफ इंडिया (एसडीपीआई) से जुड़े लोग भी शामिल हैं। गिरफ्तार किए गए लोगों में एक डॉक्टर भी शामिल है। आरोप है कि इन लोगों ने भूमि पूजन के बाद ट्विटर और फेसबुक पर नफरत भरे पोस्ट किए।
अपर पुलिस अधीक्षक कुंवर ज्ञानंजय के मुताबिक, उन्हें डॉ. अलीम के क्लिनिक में कुछ लोगों के बैठे होने और व्हाट्सएप पर ऐसे मैसेज फॉरवार्ड करने तथा ट्विटर पर ऐसे कमेंट्स किए जाने के बारे में सूचना मिली थी, जो सांप्रदायिक सद्भाव और राष्ट्रीय अखंडता के खिलाफ थे। पुलिस जब मौके पर पहुंची तो उन्होंने डॉ. अलीम, कमरुद्दीन और साहिबे आलम को इसमें शामिल पाया। तीनों को गिरफ्तार कर लिया गया।
साहिबे आलम पीएफआई का पूर्व पदाधिकारी है और वर्तमान में एसडीपीआई के मीडिया प्रभारी के रूप में काम कर रहा है। पुलिस के मुताबिक, डॉ. अलीम और कमरुद्दीन एसडीपीआई के व्हाट्सएप ग्रुप के सदस्य हैं। एसडीपीआई और पीएफआई के साथ उनके संबंधों के बारे में और पता लगाने के लिए विस्तृत जांच की जा रही है।
यहां उल्लेखनीय है कि अयोध्या में भूमि पूजन के बाद से ऑल इंडिया मुस्लिम पर्सनल लॉ बोर्ड की तरफ से भी एक विवादित ट्वीट किया गया था, जिसमें तुर्की के हागिया सोफिया का जिक्र करते हुए कहा गया था कि परिस्थितियां हमेशा एक सी नहीं रहतीं। हालांकि इस पर विवाद के बाद इसे हटा लिया गया था। AIMIM के अध्यक्ष असदुद्दीन ओवैसी ने भी राम मंदिर निर्माण के लिए भूमि पूजन में शिरकत करने के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के फैसले की आलोचना की थी।
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