युवाओं की आवाज जायज है, सरकार को इसे दबाने के बजाय सुनना चाहिए: राहुल गांधी

देश
रामानुज सिंह
Updated Jan 13, 2020 | 19:06 IST

देशभर में हो रहे नागरिकता संशोधन कानून (सीएए) के खिलाफ प्रदर्शनों के बीच कांग्रेस समेत 20 पार्टियों ने बैठक की। राहुल गांधी ने कहा कि पीएम मोदी को छात्रों के सामने खड़े होने की हिम्मत नहीं है।

युवाओं की आवाज जायज है, सरकार को इसे दबाने के बजाय सुनना चाहिए: राहुल गांधी
Rahul Gandhi  |  तस्वीर साभार: ANI

नई दिल्ली: कांग्रेस समेत 20 विपक्षी दलों ने सोमवार को दिल्ली नागरिकता संशोधन कानून (सीएए) के विरोध में हुए प्रदर्शनों और कई विश्वविद्यालय कैंपस में हिंसा के बाद पैदा हुए हालात, आर्थिक मंदी समेत कई मुद्दों बैठक की। सूत्रों के मुताबिक कि इस बैठक में सीएए विरोधी प्रदर्शनों, जेएनयू, जामिया मिल्लिया इस्लामिया और कुछ अन्य विश्वविद्यालयों में हिंसा के बाद के हालात, आर्थिक मंदी, बेरोजगारी और कृषि संकट पर चर्चा हुई। इस बैठक में संसद के आगामी बजट सत्र में नरेंद्र मोदी सरकार को घेरने की रणनीति पर भी चर्चा हुई। बैठक के बाद कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने मीडिया से बात करते हुए कहा कि युवाओं की समस्या का समाधान करने के बजाय नरेंद्र मोदी देश को विचलित करने और लोगों को विभाजित करने की कोशिश कर रहे हैं। युवाओं की आवाज जायज है, इसे दबाया नहीं जाना चाहिए, सरकार को इसे सुनना चाहिए।

राहुल गांधी ने कहा कि नरेंद्र मोदी में युवाओं को यह बताने का साहस होना चाहिए कि भारतीय अर्थव्यवस्था एक आपदा बन गई है। लेकिन उनके पास छात्रों के सामने खड़े होने की हिम्मत नहीं है। मैं उनसे किसी भी विश्वविद्यालय में जाने के लिए चुनौती देता हूं, बिना पुलिस के वहां खड़ा होकर दिखाएं और लोगों को बताएं कि वह इस देश के लिए क्या करने जा रहे हैं।

विपक्षी दलों की बैठक के बाद सीपीआई नेता डी राजा ने कहा कि विपक्षी नेताओं फैसाला किया है कि वे नागरिकों को 23, 26 और 30 जनवरी को नागरिकता संशोधन अधिनियम और एनआरसी के खिलाफ 'देश बचाओ, लोकतंत्र बचाओ, संविधान बचाओ' की भावना से लामबंद होने का आह्वान करेंगे।

पार्लियामेंट एनेक्सी में हुई बैठक में कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी, पूर्व प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह, कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी, एनसीपी प्रमुख शरद पवार, कांग्रेस के वरिष्ठ नेता अहमद पटेल, ए के एंटनी, के सी वेणुगोपाल, गुलाम नबी आजाद और रणदीप सुरजेवाला, सीपीएम के सीताराम येचुरी, सीपीआई के डी राजा, झामुमो के नेता एवं झारखंड के मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन, एनसीपी के प्रफुल्ल पटेल, आरजेडी के मनोज झा, नेशनल कांफ्रेस के हसनैन मसूदी और रालोद के अजित सिंह मौजूद थे।

इसके साथ ही आईयूएमएल के पी के कुन्हालीकुट्टी, लोकतांत्रिक जनता दल के शरद यादव, पीडीपी के मीर मोहम्मद फैयाज, जद (एस) के डी कुपेंद्र रेड्डी, हिंदुस्तानी अवाम मोर्चा के जीतन राम मांझी, रालोसपा के उपेंद्र कुशवाहा तथा कई अन्य दलों के नेता भी बैठक में शामिल हुए। लेकिन इस बैठक में बीएसपी, आम आदमी पार्टी और टीएमसी शामिल नहीं हुईं।

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