कोलकाता: देशभर में पेट्रोल और डीजल की कीमतों में हो रही बढ़त को लेकर बहस जारी है इस बीच पश्चिम बंगाल सरकार इसको लेकर बड़ा ऐलान करते हुए ईंधन कीमतों में कमी करने का फैसला किया हैपश्चिम बंगाल सरकार (West Bengal Government) ने रविवार को पेट्रोल और डीजल (Petrol & Diesel) पर कर में एक रुपये प्रति लीटर की कटौती की घोषणा की, जो 22 फरवरी मध्यरात्रि से प्रभावी होगी।
राज्य के वित्त मंत्री अमित मित्रा ने कहा कि इस कदम से लोगों को ईंधन की कीमतों में हुई वृद्धि से कुछ राहत मिलेगी। मित्रा ने कहा, 'केंद्र को पेट्रोल से कर के तौर पर 32.90 रुपये प्रति लीटर (20 फरवरी को) प्राप्त होता है, जबकि राज्य को सिर्फ 18.46 रुपये ही मिलते हैं। डीजल के मामले में, केंद्र सरकार को मिलने वाला कर 31.80 रुपये प्रति लीटर है, जबकि राज्य को 12.77 रुपये ही मिलते हैं।'
उन्होंने यह भी आरोप लगाया कि केंद्र ने उपकर लगाया है, ताकि इस राशि में से राज्यों को उनका हिस्सा नहीं देना पड़े, यह 'देश के संघीय ढांचे की विशेषताओं के खिलाफ' है। मित्रा ने एक सवाल के जवाब में कहा कि केंद्र सरकार को फिर से योजना आयोग को अस्तित्व में लाना चाहिए।
मित्रा ने कहा कि केंद्र पेट्रोल से कर के तौर पर 32.90 रुपये प्रति लीटर कमाता है, जबकि राज्य को केवल 18.46 रुपये मिलते हैं। डीजल के मामले में, केंद्र सरकार की कमाई 31.80 रुपये प्रति लीटर है, जबकि राज्य के लिए 12.77 रुपये है साथ ही उन्होंने आरोप लगाया कि केंद्र ने उपकर लगाया है ताकि राज्यों को उनका हिस्सा नहीं देना पड़े, यह ‘संघवाद की विशेषताओं के खिलाफ’ है।
खास बात है देश के कई शहरों में पेट्रोल-डीजल की कीमतें सौ का आंकड़ा पार कर गईं हैं, विपक्षी दल और आम जनता लगातार केंद्र सरकारपर निशाना साध रहे हैं और इसके लिए उनकी नीतियों को दोषी ठहरा रहे हैं। सूबे की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने भी केंद्र सरकार पर निशाना साधा था उन्होंने हाल ही में कहा था कि केंद्र सरकार चुनाव से कुछ दिन पहले कीमतों में कमी करेगी, सीएम ने कहा था 'वे हर दिन एलपीजी और डीजल की कीमतें बढ़ा रहे हैं, यह चिंता की बात है,केंद्र सरकार चुनाव आने से कुछ दिन पहले ही कीमतों में कमी करेगी।'
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