कोलकाता: पश्चिम बंगाल विधानसभा चुनाव से पहले सीएम ममता बनर्जी की पार्टी तृणमूल कांग्रेस (TMC) को एक के बाद एक बड़े झटके लग रहे हैं और पार्टी के कद्दावर नेता ममता का साथ छोड़ रहे हैं। सबसे बड़ा झटका ममता को उस समय लगा जब उनके अहम सिपाहसलार शुभेंदु अधिकारी ने पार्टी छोड़ दी। शुभेंदु आने वाले दिनों में भाजपा ज्वॉइन करने वाले हैं। इसके बाद साउथ बंगाल स्टेट ट्रांसपोर्ट कॉरपोरेशन (SBSTC) के अध्यक्ष दीप्तांगशु चौधरी और विधायक जितेंद्र तिवारी ने भी ममता बनर्जी को अपना इस्तीफा भेज दिया है। लगातार हो रहे इस्तीफों के बीच ममता बनर्जी ने आज पार्टी की आपातकालीन बैठक बुलाई है।
ममता का आरोप
इस आपातकालीन बैठक में पार्टी की रणनीति को लेकर चर्चा की जाएगी और लगातार हो रहे इस्तीफों को लेकर भी आगे की रणनीति पर चर्चा होने की उम्मीद है। हालांकि बैठक को लेकर अभी तक कोई एजेंडा सामने नहीं आया है। इससे पहले पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने आरोप लगाया कि भाजपा, तृणमूल कांग्रेस के नेताओं को भगवा पार्टी में शामिल होने के लिए बाध्य कर रही है।
ममता ने पार्टी छोड़ने वालों को बताया अवसरवादी
बुधवार को कूचबिहार में एक रैली को संबोधित करते हुए बनर्जी ने पार्टी का साथ छोड़ने वालों को ‘अवसरवादी’ बताया और आरोप लगाया कि तृणमूल कांग्रेस में फूट डालने के लिए भाजपा ‘धन के थैलों’ का इस्तेमाल कर रही है। उन्होंने कहा, ‘भाजपा नेताओं का साहस देखिए कि वे हमारी पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष सुब्रत बक्शी को भगवा पार्टी में शामिल होने के लिए कहते हैं। भाजपा राजनीतिक शिष्टाचार नहीं जानती, उसकी कोई विचारधारा नहीं है। (तृणमूल कांग्रेस में) एक-दो अवसरवादी हैं जो उनके फायदे के लिए काम कर रहे हैं।’
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