प्रशांत किशोर के कांग्रेस में शामिल होने पर CWC करेगी फैसला, पार्टी नेताओं से ली जाएगी राय

देश
रंजीता झा
रंजीता झा | SPECIAL CORRESPONDENT
Updated Sep 04, 2021 | 22:11 IST

Prashant Kishor: चुनावी रणनीतिकार प्रशांत किशोर कांग्रेस में शामिल होंगे या नहीं, इस पर अब फैसला कांग्रेस वर्किंग कमेटी के सदस्य करेंगे। वो सभी की राय लेकर पार्टी हाईकमान को इस बारे में बताएंगे।

Prashant Kishor
प्रशांत किशोर 

चुनावी रणनीतिकार प्रशांत किशोर की कांग्रेस में एंट्री को लेकर लंबे समय से कयास चल रहे हैं। इस बाबत राहुल गांधी-प्रियंका गांधी से प्रशांत किशोर की कई दौर की बैठकें भी हुईं, लेकिन प्रशांत किशोर को कांग्रेस में शामिल कराने और किस तरह की जिम्मेदारी दी जाए इसका फैसला अब AICC संगठन की सर्वोच्च कमेटी CWC (कांग्रेस वर्किंग कमेटी) को दे दी गई है।

कांग्रेस के विश्वसनीय सूत्रों के हवाले से खबर निकल कर आ रही है कि कांग्रेस नेतृत्व प्रशांत किशोर के पार्टी में शामिल कराने को लेकर आम राय जानना चाहती है और इसके लिए एक वरिष्ठ नेताओं की कमिटी भी बनाई गई है। एके एंटनी,अंबिका सोनी और केसी वेणुगोपाल को कांग्रेस नेतृत्व की तरफ से ये जिम्मेदारी दी गई है कि वो वर्किंग कमिटी के सभी सदस्यों से छोटे-छोटे ग्रुप में बैठक कर उनकी राय ले। नेताओं द्वारा दिए सभी सुझाव को कांग्रेस नेतृत्व को जल्द से जल्द सौंपा जाए। वही सूत्रों का ये भी कहना है कि ये कमिटी अखिल भारतीय कांग्रेस कमिटी में संगठनात्मक बदलाव पर भी अपनी राय साझा करे। CWC के सदस्य आगामी विधानसभा चुनाव से पहले पार्टी में किस तरह का बदलाव देखना चाहते हैं? पार्टी को इससे किस का फायदा होगा? 

प्रशांत किशोर के मामले में कांग्रेस नेतृत्व नही करना चाहती जल्दबाजी

पश्चिम बंगाल चुनाव में TMC की मिली शानदार जीत के बाद ही प्रशांत किशोर ने किस बात की घोषणा कर दी थी कि अब वो राजनीति में रणनीतिकार की भूमिका में नही रहेंगे। राजनीति में उनका क्या रोल होगा इसपर उन्होंने कोई खुलासा नही किया था। लेकिन राहुल गांधी के साथ उनकी मुलाकातों ने इस बात की पुष्टि की वो कांग्रेस पार्टी में आना चाह रहे हैं लेकिन पार्टी के अंदर उनकी क्या भूमिका होगी उसको लेकर सवाल है। सूत्रों का कहना है कि प्रशांत किशोर ने राहुल गांधी के सामने ये प्रस्ताव रखा है कि उन्हें इलेक्शन स्ट्रैटिजी और एलाइंस की जिम्मेदारी दी जाए। जिसमें प्रशान्त किशोर को आने वाले सभी चुनावो में पार्टी के गठबंधन को लेकर फैसला लेने का अधिकार हो। अंदरूनी कलह से जूझ रही कांग्रेस को ये लगता है कि कांग्रेस संगठन में इस तरह से फैसले को लेना जोखिम भरा हो सकता है ऐसे में आमराय होनी जरूरी है। 

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