नई दिल्ली: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी आज उत्तर प्रदेश दौरे पर हैं। सिद्धार्थनगर में उन्होंने 9 मेडिकल कॉलेज की सौगात दी। इस मौके पर केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री मनसुख मंडाविया ने कहा कि एक दिन में 9 मेडिकल कॉलेज खोलना कोई छोटी बात नहीं है। इन मेडिकल कॉलेजों से वर्तमान और आने वाली पीढ़ी दोनों को फायदा होगा। पीएम मोदी के कार्यकाल में चिकित्सा शिक्षा में सुधार हुआ है। भारत सरकार ने देश में 157 मेडिकल कॉलेज खोले हैं।
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा कि 1947-2016 तक केवल 12 सरकारी मेडिकल कॉलेज थे लेकिन अब पीएम मोदी के नेतृत्व में 30 मेडिकल कॉलेज खोले जाएंगे। 30 में से 7 कॉलेजों में एमबीबीएस की कक्षाएं शुरू हो गई हैं, और आज हम 9 और का उद्घाटन कर रहे हैं; भविष्य में और 14 का करेंगे।
पीएम मोदी ने कहा कि आज का दिन पूर्वांचल के लिए, पूरे उत्तर प्रदेश के लिए आरोग्य की डबल डोज लेकर आया है, आपके लिए एक उपहार लेकर आया है। हां सिद्धार्थनगर में यूपी के 9 मेडिकल कॉलेजों का लोकार्पण हो रहा है, इसके बाद पूर्वांचल से ही पूरे देश के लिए बहुत जरूरी मेडिकल इंफ्रास्ट्रक्चर की बड़ी योजना शुरू होने जा रही है। आज केंद्र में जो सरकार है, यहां यूपी में जो सरकार है, वो अनेकों कर्मयोगियों की दशकों की तपस्या का फल है। सिद्धार्थनगर ने भी स्वर्गीय माधव प्रसाद त्रिपाठी जी के रूप में एक ऐसा समर्पित जनप्रतिनिधि देश को दिया, जिनका अथाह परिश्रम आज राष्ट्र के काम आ रहा है। सिद्धार्थनगर के नए मेडिकल कॉलेज का नाम माधव बाबू के नाम पर रखना उनके सेवाभाव के प्रति सच्ची कार्यांजलि है।
9 नए मेडिकल कॉलेजों के निर्माण से, करीब ढाई हजार नए बेड्स तैयार हुए हैं, 5 हज़ार से अधिक डॉक्टर और पैरामेडिक्स के लिए रोजगार के नए अवसर बने हैं। इसके साथ ही हर वर्ष सैकड़ों युवाओं के लिए मेडिकल की पढ़ाई का नया रास्ता खुला है। जिस पूर्वांचल की छवि पिछली सरकारों ने खराब कर दी थी, जिस पूर्वांचल को दिमागी बुखार से हुई दुखद मौतों की वजह से बदनाम कर दिया गया था। वही पूर्वांचल, वही उत्तर प्रदेश, पूर्वी भारत को सेहत का नया उजाला देने वाला है।
यूपी के भाई-बहन भूल नहीं सकते कि कैसे योगी जी ने संसद में यूपी की बदहाल मेडिकल व्यवस्था की व्यथा सुनाई थी। योगी जी तब मुख्यमंत्री नहीं थे, सांसद थे जब योगी जी को जनता-जनार्दन ने सेवा का मौका दिया तो कैसे उन्होंने दिमागी बुखार को बढ़ने से रोक दिया, इस क्षेत्र के हजारों बच्चों का जीवन बचा लिया। सरकार जब संवेदनशील हो, गरीब का दर्द समझने के लिए मन में करुणा का भाव हो तो इसी तरह काम होता है। क्या कभी किसी को याद पढ़ता है कि यूपी के इतिहास में कभी एक साथ इतने मेडिकल कॉलेज का लोकार्पण हुआ हो?
पहले ऐसा क्यों नहीं होता था और अब ऐसा क्यों हो रहा है, इसका एक ही कारण है- राजनीतिक इच्छाशक्ति और राजनीतिक प्राथमिकता। 7 साल पहले जो दिल्ली में सरकार थी और 4 साल पहले जो यहां यूपी में सरकार थी, वो पूर्वांचल में क्या करते थे? जो पहले सरकार में थे, वो वोट के लिए कहीं डिस्पेंसरी की, कहीं छोटे-मोटे अस्पताल की घोषणा करके बैठ जाते थे। सालों-साल तक या तो बिल्डिंग ही नहीं बनती थी, बिल्डिंग होती थी तो मशीनें नहीं होती थीं, दोनों हो गईं तो डॉक्टर और दूसरा स्टाफ नहीं होता था। ऊपर से गरीबों के हजारों करोड़ रुपए लूटने वाली भ्रष्टाचार की साइकिल चौबीसों घंटे अलग से चलती रहती थी।
इसके बाद पीएम मोदी वाराणसी जाएंगे जहां वो 5200 करोड़ से ज्यादा की विकास परियोजनाओं का उद्घाटन करेंगे। इसके अलावा वो प्रधानमंत्री आत्मनिर्भर स्वस्थ भारत योजना की शुरुआत करेंगे।
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