अंग्रेजी कलैंडर के अनुसार मार्च का महीना जो शुरू होता है, उसमें हिंदी कलैंडर के फागुन और चैत्र महीने की तारीख पड़ती हैं। वैसे मार्च के महीने का इंतजार होली के त्योहार के लिए ज्यादा होता है। इससे पहले फाल्गुन कृष्ण अष्टमी से होलाष्टक की शुरुआत हो जाएगी। होलाष्टक आठ दिनों का होता है। मार्च 2020 में 3 तारीख से होलाष्टक शुरू होंगे और इस दौरान कोई भी शुभ काम नहीं किए जाते हैं। 9 तारीख को होलिका दहन होगा जो इस बार गजकेसरी योग में बन रहा है। इस योग को बेहद शुभ माना जाता है।
मार्च के महीने में 6 तारीख को आमलकी एकादशी भी आएगी। इस दिन आंवले के पेड़ की पूजा होती है। मान्यता है कि आंवले के पेड़ को भगवान विष्णु ने ही जन्म दिया था। वहीं इसी माह में सूर्य देव मीन राशि में भी प्रवेश करेंगे। ये मीन संक्रांति कई राशियों के लिए बदलाव लेकर आएगी। मार्च के अंत में चैत्र नवरात्रों की शुरुआत भी होगी।
तारीख | दिन | व्रत-त्योहार |
6 मार्च | शुक्रवार | आमलकी एकादशी |
9 मार्च | सोमवार | छोटी होली, होलिका दहन, फाल्गुन पूर्णिमा |
10 मार्च | मंगलवार | होली |
14 मार्च | शनिवार | मीन संक्रांति |
16 मार्च | सोमवार | शीतला अष्टमी, बसोड़ा |
19 मार्च | गुरुवार | पापमोचनी एकादशी |
25 मार्च | बुधवार | चैत्र नवरात्रि प्रारंभ, गुडी पडवा |
27 मार्च | शुक्रवार | गौरी पूजा, गणगौर |
30 मार्च | सोमवार | यमुना छठ |
बता दें कि चैत्र मास की नवरात्रि की षष्ठी तिथि को यमुना छठ या यमुना जयंती के रूप में भी मनाया जाता है। इस पर्व की मथुरा में खासतौर पर बहुत धूम रहती है।
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