नई दिल्ली: एशियाई खेलों के स्वर्ण पदक विजेता मुक्केबाज डिंको सिंह का कोरोना वायरस टेस्ट निगेटिव आया है और वह अपने घर इम्फाल लौट गए हैं। लीवर के कैंसर से पीड़ित डिंको कोरोना वायरस पॉजिटिव पाए जाने के बाद पिछले एक महीने से अस्पताल में भर्ती थे। 41 वर्षीय डिंको का पहला टेस्ट, मई में पॉजिटिव पाया गया था और इसके बाद उन्हें जून में इम्फाल के रिम्स में दाखिल करवाया गया था। डिंको की निगेटिव रिपोर्ट से पहले पांच बार पॉजिटिव रिपोर्ट आई थी।
भारतीय मुक्केबाजी महासंघ के महासचिव जय कॉवली ने कहा, 'मैं बहुत खुश हूं। डिंको मेरे बेटे की तरह हैं। आप हमेशा मुझे उनके कॉर्नर में पाएंगे और यह पिछले 20 वर्षों से हो रहा है।' मणिपुर के मुख्यमंत्री एन. बिरेन सिंह ने ट्वीट करते हुए कहा, 'यह सुनकर खुशी हुई कि एशियाई खेलों के स्वर्ण पदक विजेता मुक्केबाज डिंको सिंह कोरोना वायरस टेस्ट निगेटिव पाए जाने के बाद दिल्ली से अपने घर लौट आए हैं। डॉक्टर और स्टाफ का शुक्रिया, जिन्होंने रिम्स में उनकी देखभाल की।'
डिंको को अप्रैल में कैंसर के इलाज के लिए स्पाइसजेट एयर एम्बुलेंस के माध्यम से इम्फाल से दिल्ली लाया गया था। डिंको ने 1998 में बैंकॉक एशियाई खेलों में स्वर्ण पदक जीता था। इसके बाद उन्हें अर्जुन अवॉर्ड और पद्मश्री पुरस्कार से सम्मानित किया गया था। वह लीवर के कैंसर से जूझ रहे हैं।
घर लौटने के बाद डिंको सिंह को 15 दिन पृथकवास में रहना है। पिछले महीने यानी मई में अस्पताल में भर्ती होने के बाद पांच बार उनके टेस्ट पॉजीटिव पाए गए। पूर्व मुक्केबाज कैंसर की बीमारी से भी जूझ रहे हैं। उन्होंने कहा, 'एक महीना बहुत कड़ा बीता। मैं डॉक्टर्स और नर्स का शुक्रिया करता हूं, जिन्होंने मेरा ख्याल रखा। मैं जिंदगीभर उनका आभारी रहूंगा। अस्पताल में रहते समय पांच बार मेरा टेस्ट पॉजीटिव आया। यह बहुत संकट वाला समय था क्योंकि मैं देख पा रहा था कि मेरे बाद आने वाले लोग भी मुझसे पहले जा रहे हैं। मगर डॉक्टर्स और नर्स की वजह से आज मैं भी ठीक हो गया हूं।'
सिंह की दिक्कतें बढ़ी जब वो अपने कैंसर की रेडिएशन थेरेपी कराने के लिए दिल्ली आए थे। हालांकि, यहां पहुंचने के बाद उनका पीलिया का इलाज चला और थेरेपी सेशन रद्द करना पड़ा। कोरोना वायरस महामारी के कारण फ्लाइट बंद हो गई थी। सिंह ने सड़क द्वारा 2400 किमी का सफर तय करने की ठानी। इम्फाल पहुंचने के बाद वह कोविड-19 टेस्ट में पॉजीटिव पाए गए, जिसने उनके स्वास्थ्य पर एक और चुनौती दाग दी।
41 साल के डिंको ने कहा, 'मेरे लिए यह आसान नहीं था, लेकिन मैंने खुद से कहा, लड़ना है तो लड़ना है।' मैं हार मानने को तैयार नहीं था। कोई भी नहीं होता। अब मेरा पीलिया भी नियंत्रण में हैं और जल्द ही मेरी रेडिएशन थेरेपी भी हो जाएगी।' घर लौटने की खुशी डिंको सिंह के चेहरे पर साफ दिखाई दे रही थी। उन्होंने कहा, 'मैं अपने घर (इम्फाल) में टॉप फ्लोर पर अकेला हूं, लेकिन घर लौटकर खुश हूं। हर कोई जश्न मना रहा है। मेरे गांव के लोग आकर शुभकामनाएं दे रहे हैं। मैं उनसे मिल नहीं सकता, लेकिन मुझे खुशी है कि वो चिंता करते हैं।'