Chess Olympiad: 44वां शतरंज ओलंपियाड खत्म, समापन समारोह में दिखी तमिलनाडु की सांस्कृतिक विरासत की झलक

स्पोर्ट्स
भाषा
Updated Aug 10, 2022 | 08:39 IST

Chennai 44th Chess Olympiad closing ceremony: चेन्नई में आयोजित हुए शतरंज ओलंपियाड के समापन समारोह में तमिलनाडु की सांस्कृतिक विरासत की झलक दिखी।

Chess Olympiad closing ceremony
@FIDE_chess  |  तस्वीर साभार: Twitter
मुख्य बातें
  • 44वां शतरंज ओलंपियाड खत्म हो गया है
  • चेन्नई में इसका समापन समारोह हुआ
  • विश्वनाथन आनंद भी कार्यक्रम में रहे मौजूद

चेन्नई: रंगारंग सांस्कृतिक कार्यक्रमों के बीच मंगलवार को यहां 44वें फिडे शतरंज ओलंपियाड का समापन हो गया जिसमें भारत ‘बी’ ने ओपन वर्ग जबकि भारत ‘ए’ ने महिला वर्ग में कांस्य पदक जीते। समापन समारोह की अध्यक्षता करते हुए तमिलनाडु के मुख्यमंत्री एमके स्टालिन ने कहा कि राज्य को खेलों में शीर्ष पर पहुंचाने के लिए राज्य सरकार कई योजनाएं लागू कर रही है।

स्टालिन ने कहा कि खिलाड़ी और अधिकारी सिर्फ यादों को ही नहीं बल्कि परंपरा, संस्कृति और तमिल खाने के जायकों को भी अपने साथ ले जाएंगे। उन्होंने कहा कि खेलों में तमिलनाडु को शीर्ष पर ले जाने के लिए राज्य सरकार ने कई योजनाएं तैयार की हैं और उन्हें लागू कर रही है। इस मौके पर मुख्य सचिव वी इराई अंबु, अखिल भारतीय शतरंज महासंघ के अध्यक्ष संजय कपूर और भारतीय टीम के मार्गदर्शक विश्वनाथन आनंद भी मौजूद थे।

तमिलनाडु के खेल विकास मंत्री शिवा वी मय्यानाथन ने कहा, ‘‘हमने इतिहास रच दिया।’’ उन्होंने प्रतियोगिता के सफल आयोजन में सहयोग और मदद के लिए केंद्र सरकार को भी धन्यवाद दिया। उन्होंने इसे राज्य के इतिहास का समृद्ध अध्याय करार दिया। शतरंज की वैश्विक संचालन संस्था फिडे के अध्यक्ष आर्केडी वार्कोविच ने कहा कि चेन्नई में उनका जबर्दस्त स्वागत किया गया। उन्होंने यहां की मेहमाननवाजी पर खुशी और आभार जताया। उन्होंने शतरंज की जन्मभूमि भारत की सराहना की।

ओलंपियाड के समापन समारोह के दौरान जल्लीकट्टू जैसे तमिलनाडु की समृद्ध सांस्कृतिक विरासत को प्रदर्शित करने वाले कार्यक्रम प्रस्तुत किए गए और प्रभावशाली संगीत कार्यक्रम आयोजित किए गए। एक शानदार नृत्य-नाटक कार्यक्रम ‘तमीज मान’ के जरिए तमिलनाडु के स्वतंत्रता सेनानियों के बलिदान को याद किया गया। प्रसिद्ध अभिनेता कमल हासन ने इस कार्यक्रम के लिए आवाज दी जो स्वतंत्रता समारोह की 75वीं वर्षगांठ का हिस्सा था। तमिलनाडु के रहने वाले भारत के शतरंज में पहले अंतरराष्ट्रीय मास्टर खिलाड़ी मैनुअल आरोन और अधिकारियों को इस दौरान सम्मानित किया गया।

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