नई दिल्ली : वर्ष 2020 में कोरोना वायरस महामारी ने देश और दुनिया में बहुत कुछ बदल दिया है। जिसका असर हमारे जीवन पर तो पड़ा ही लेकिन अर्थव्यवस्था को भी तबाह कर दिया। जिसका असर दिखने लगा है। कई चीजें महंगी हो गई हैं। अब लोगों के घरों में इस्तेमाल होने वाली चीजें भी जनवरी 2012 से महंगी होने वाली है। एलईडी टीवी, रेफ्रिजरेटर, वॉशिंग मशीन जैसे अन्य टिकाऊ घरेलू सामान भी बढ़ने वाली है। इनकी कीमतें अगले साल जनवरी से 10% तक बढ़ सकती हैं। तांबा, एल्युमिनियम और इस्पात जैसे कच्चे माल की लागत बढ़ने और पेट्रोल-डीजल की कीमतें बढ़ने से माल ढुलाई महंगा हो गया है। इस वजह से कीमतें बढ़ सकती है।
मैन्युफैक्चरर्स ने कहा कि इसके अलावा आपूर्ति में कमी के कारण टीवी पैनल (ओपेन सेल) की कीमतें भी दोगुनी से अधिक हो चुकी हैं। कच्चे तेल की कीमतों में बढ़ोतरी के साथ ही प्लास्टिक भी महंगा हो गया है। उन्होंने कहा कि एलजी, पैनासोनिक और थॉमसन जैसे मैन्युफैक्चरर्स के लिए जनवरी से कीमतों में बढ़ोतरी अपरिहार्य है, जबकि सोनी अभी भी हालात की समीक्षा कर रही है और उसे इस बारे में फैसला करना है।
पैनासोनिक इंडिया के अध्यक्ष और सीईओ मनीष शर्मा ने कहा कि हमारा मानना है कि निकट भविष्य में कमोडिटी कीमतों में बढ़ोतरी से हमारे प्रोडक्ट्स की कीमतें प्रभावित होंगी। मेरा अनुमान है कि जनवरी में 6-7% कीमतें बढ़ेंगी और वित्त वर्ष की पहली तिमाही तक ये 10-11% तक बढ़ सकती है।
एलजी इलेक्ट्रॉनिक्स इंडिया भी अगले साल 1 जनवरी से कीमतों में 7 से 8% की बढ़ोतरी करने जा रही है। एलजी इलेक्ट्रॉनिक्स इंडिया के उपाध्यक्ष (घरेलू उपकरण) विजय बाबू ने कहा कि जनवरी से हम टीवी, इलेक्ट्रॉनिक्स मशीन, रेफ्रिजरेटर आदि सभी उत्पादों की कीमतों में 7 से 8% तक बढ़ोतरी करने जा रहे हैं। कच्चे माल की कीमतों में तेजी से वृद्धि हुई है। इसके अलावा कच्चे तेल की कीमतों में भी वृद्धि हो रही है, इसलिए प्लास्टिक सामग्री की लागत भी काफी हद तक बढ़ गई है।
सोनी इंडिया कीमतों में बढ़ोतरी पर स्थिति की समीक्षा कर रही है और उसने इस बारे में अभी फैसला नहीं लिया है। इस बारे में पूछने पर सोनी इंडिया के प्रबंध निदेशक सुनील नय्यर ने कहा कि फिलहाल नहीं। अभी इंतजार किया जा रहा है। हम आपूर्ति पक्ष को देख रहे हैं, जो दिन-प्रतिदिन बदल रहा है। हालात, अस्पष्ट हैं और हमने इस बारे में अभी तय नहीं किया है। उन्होंने कहा कि पैनल की कीमतें और कुछ कच्चे माल की लागत बढ़ गई है, खासतौर से टीवी के लिए।