इनकम टैक्स रिटर्न फाइलिंग की आखिरी तारीख बढ़ाकर 10 जनवरी 2021 कर दी गई है। अब सिर्फ दो दिन बचे हैं। अगर आपने अभी तक आईटीआर रिटर्न दाखिल नहीं किया है तो जल्दी करें नहीं तो जुर्माना भरना पड़ सकता है। आयकर रिटर्न (ITR) दाखिल करना टैक्सपेयर्स के लिए सबसे महत्वपूर्ण वित्तीय कार्यों में से एक है। पहली बार आईटीआर भरने वालों के लिए प्रक्रिया थोड़ी मुश्किल हो सकती है। क्योंकि इसमें फाइनेंस से संबंधत बहुत सारे दस्तावेज होते हैं। सरकार आम तौर पर टैक्सपेयर्स को चार महीने की विंडो की अवधि देती है, जिसमें वे बिना किसी त्रुटि के रिटर्न दाखिल करने के लिए आवश्यक सभी दस्तावेजों को संकलित कर सकते हैं। हालांकि, इस वर्ष यह विंडो बहुत बड़ी रही है क्योंकि वित्त वर्ष 19-20 के लिए आईटीआर दाखिल करने की समय सीमा कई बार बढ़ाई जा चुकी है।
ITR फाइल करने के लिए जरूरी दस्तावेज
फॉर्म 16 (Form 16): वेतनभोगी व्यक्तियों के लिए, फॉर्म 16 आईटीआर दाखिल करने के लिए सबसे महत्वपूर्ण दस्तावेज है। यह दस्तावेज नियोक्ता द्वारा अपने कर्मचारियों को जारी किया जाता है। यह एक अनिवार्य दस्तावेज है और प्रत्येक नियोक्ता अपने उन सभी कर्मचारियों को फॉर्म 16 जारी करने के लिए उत्तरदायी है जिनसे इनकम टैक्स उनके वेतन से काटा है। यह स्रोत (टीडीएस) प्रमाण पत्र पर काटा गया टैक्स है और कर्मचारी को दिए गए वेतन और उनके टीडीएस का डिटेल देता है। फॉर्म 16 में दो भाग होते हैं - पार्ट A और B, पार्ट A वह भाग होता है जिसमें वित्तीय वर्ष में नियोक्ता द्वारा काटे गए आयकर शामिल होते हैं। अगल से इसमें कर्मचारी का स्थायी खाता संख्या (PAN) और नियोक्ता की टैक्स कटौती खाता संख्या (Tax Deduction Account Number) (TAN) होती है। फॉर्म 16 के भाग B में कर्मचारी के सकल वेतन (gross salary) की ब्रेक-अप जानकारी होती।
फॉर्म 26AS: इनकम टैक्स विभाग एक वार्षिक समेकित टैक्स डिटेल तैयार करता है जिसे 'फॉर्म 26AS' के रूप में जाना जाता है। PAN का उपयोग करके, सभी टैक्सपेयर्स इसे इनकम टैक्स वेबसाइट से आसानी से प्राप्त कर सकते हैं। इसमें वेतनभोगी वर्ग की टीडीएस राशि और वित्त वर्ष के दौरान (सेल्फ-इमप्लॉयड या बिजनेस के मामले में) चुकाए गए टैक्स की जानकारी होती है। टैक्सपेयर्स अपने फॉर्म 26AS का उल्लेख कर सकते हैं और आईटीआर दाखिल करते समय केंद्र सरकार के खजाने को दिए गए टैक्स की राशि के लिए अपने फॉर्म 16 के साथ इसे जमा कर सकते हैं। सरकार द्वारा पेश किया गया बेहतर 'फॉर्म 26AS' वित्तीय लेनदेन की डिटेल (SFT) में निर्दिष्ट किसी व्यक्ति के वित्तीय लेनदेन की विभिन्न कैटेगरी में डिटेल देता है।
ब्याज आय से संबंधित सर्टिफिकेट : वेतन से आय के अलावा, किसी व्यक्ति को विभिन्न ब्याज निवेश जैसे बचत खाता जमा और बैंकों और पोस्ट ऑफिस से सावधि जमा से आय प्राप्त होती है। ये वित्तीय संस्थान उस के लिए अपने जमाकर्ताओं को ब्याज प्रमाणपत्र/बैंक स्टेटमेंट प्रदान करते हैं। एक व्यक्ति बैंक/डाकघर के साथ आयोजित अपने बचत खाते से अर्जित ब्याज पर 10,000 रुपए तक की आयकर अधिनियम की धारा 80TTA के तहत कटौती का दावा कर सकता है।
टैक्स बचत निवेश (Tax Saving Investments) : जो लोग पिछले वित्तीय वर्ष में निर्धारित अवधि के दौरान अपने नियोक्ताओं के लिए टैक्स-बचत निवेश जमा नहीं कर सके, उन्हें अब टैक्स कटौती का दावा करने के लिए सीधे इनकम टैक्स विभाग (आई-टी) विभाग को इसका प्रमाण प्रस्तुत करना होगा। इनमें जीवन बीमा (एलआईसी) प्रीमियम का भुगतान, चिकित्सा बीमा की रसीद, पब्लिक प्रोविडेंट फंड (पीपीएफ) पासबुक, 5 साल की एफडी रसीदें, म्यूचुअल फंड निवेश (ईएलएसएस), होम लोन चुकौती प्रमाण पत्र / स्टेटमेंट, डोनेशन पेड रसीद, ट्यूशन शुल्क का भुगतान रसीद आदि शामिल हैं।
मेडिकल इंश्योरेंस (Medical insurance): आईटी एक्ट की धारा 80D के तहत, आप हेल्थ बीमा प्रीमियम के भुगतान के लिए 25,000 रुपए तक का दावा कर सकते हैं। ये इंश्योरेंस पॉलिसी आपके, आपके पति या आपके बच्चों के लिए हो सकती हैं। वरिष्ठ नागरिकों के मामले में, सीमा 50,000 रुपए है। अगर आप अपने माता-पिता के लिए प्रीमियम का भुगतान कर रहे हैं तो आप धारा के तहत अतिरिक्त कटौती का दावा कर सकते हैं। अगर आपके माता-पिता 60 वर्ष से कम आयु के हैं तो सीमा 25,000 रुपए है। अगर आपके माता-पिता 60 वर्ष से अधिक हैं, तो आप प्रति वर्ष अधिकतम 50,000 रुपए का दावा कर सकते हैं।
अन्य निवेश (Other investments) : हाउसिंग लोन पर दिया गया ब्याज, हाउसिंग लोन पर ब्याज टैक्स बचत के लिए योग्य है। यह एक स्व-कब्जे वाले घर के लिए है। एजुकेशन लॉन ब्याज भुगतान भी कटौती के लिए योग्य है और इसके लिए आपको दस्तावेज जमा करने की आवश्यकता है।
यह गौर करने की बात यह है कि इनकम टैक्स रिटर्न (ITR) दाखिल करने की अंतिम तिथि से कई दिन पहले इनकम टैक्स विभाग ने सहज ITR फाइलिंग प्रक्रिया के लिए झटपट प्रोसेसिंग सुविधा शुरू की। ITR-1 और ITR-4 फॉर्म के लिए पहले ही इस सुविधा की घोषणा की जा चुकी है और टेक्सपेयर I-T रिटर्न के लिए वित्तीय वर्ष 2019-20 या AY 2020-21 के लिए ई-फाइलिंग वेबसाइट- incometaxindiaefiling.gov.in पर जाकर इसका उपयोग कर सकते हैं।