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पाकिस्तान के खिलाफ बेन स्टोक्स की गैरमौजूदगी का नहीं पड़ेगा इंग्लैंड पर असर

Updated Aug 13, 2020 | 17:03 IST

Ben Stokes vs Pakistan: पारिवारिक कारणों से पाकिस्तान के खिलाफ टेस्ट सीरीज के बाकी बचे दो टेस्ट मैच में बेन स्टोक्स के नहीं खेलने का मेजबान टीम के स्टार बल्लेबाज बेन स्टोक्स पर नहीं पड़ेगा असर।

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तस्वीर साभार:&nbspAP
बेन स्टोक्स
मुख्य बातें
  • बेन स्टोक्स का पाकिस्तान के खिलाफ टेस्ट में खराब है रिकॉर्ड
  • उनकी गैरमौजूदगी के कारण मेजबान टीम को नहीं होगा कोई नुकसान
  • एशियाई टीमों के खिलाफ बेन स्टोक्स नहीं कर पाते हैं शानदार प्रदर्शन

साउथैम्पटन: इंग्लैंड और पाकिस्तान के बीच गुरुवार को साउथैम्पटन में शुरू हुए सीरीज के दूसरे टेस्ट मैच में मेजबान टीम अपने स्टार खिलाड़ी बेन स्टोक्स के बगैर मैदान में उतरी। स्टोक्स पारिवारिक कारणों से पहले टेस्ट के बाद पाकिस्तान के खिलाफ टेस्ट सीरीज से अलग हो गए थे। उन्हें अपने बीमार पिता को देखने न्यूजीलैंड जाना था। ऐसे में जैक क्रॉले की टीम में उनकी जगह वापसी हुई है। 

बेन स्टोक्स की गैरमौजूदगी को पहले टेस्ट में 3 विकेट के करीबी अंतर से हार का सामना करने वाली पाकिस्तानी टीम के लिए फायदेमंद बताया जा रहा है। यदि रिकॉर्ड्स पर गौर करें तो एशियाई टीमों के खिलाफ बेन स्टोक्स का बल्ला नहीं चलता है और पाकिस्तान के खिलाफ उनका प्रदर्शन सबसे खराब रहा है। करियर में 67 टेस्ट में स्टोक्स ने 37.84 की औसत से 4,428 रन बनाए हैं। 

पाकिस्तान के खिलाफ साबित हुए हैं फिसड्डी
पाकिस्तान के खिलाफ स्टोक्स ने करियर में 6 टेस्ट खेले हैं जिसकी 11 पारियों में 16.18 की औसत से वो महज 178 रन बना सके। इस दौरान उनके बल्ले से केवल एक अर्धशतक निकला है। 57 रन की वो पारी उनका पाकिस्तान के खिलाफ टेस्ट क्रिकेट में सर्वाधिक स्कोर भी है। ये पारी उन्होंने पांच साल पहले अबुधाबी में पाकिस्तान के खिलाफ पहली बार टेस्ट क्रिकेट खेलते हुए खेली थी। उसके बाद से 10 पारी में वो एक बार भी 50 रन के आंकड़े को पार नहीं कर सके। वहीं पाकिस्तान के खिलाफ गेंदबाजी करते हुए उन्होंने 6 मैच की 9 पारी में 12 विकेट 28.50 के औसत से लिए हैं। ऐसे में उनके होने या नहीं होने से पाकिस्तान की टीम को ज्यादा फर्क नहीं पड़ता। 

बेन स्टोक्स ने पिछले एक से दो साल में खुद को मैच विनर के रूप में स्थापित किया है। साल 2019 में एशेज सीरीज में ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ शानदार पारी खेलकर जीत दिलाई थी। ऐसा ही उन्होंने वेस्टइंडीज के खिलाफ हालिया टेस्ट सीरीज में भी किया था। इसलिए उनके टीम में होने से इंग्लैंड को मनोवैज्ञानिक फायदा मिल सकता था लेकिन उनकी गौरमौजूदगी टीम के प्रदर्शन पर ज्यादा फर्क नहीं डालेगी।  

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