रांची: भारत और दक्षिण अफ्रीका के बीच खेली जा रही तीन मैचों की टेस्ट सीरीज में भारतीय बल्लेबाजों का दबदबा लगातार कायम है। विशाखापट्टनम से रांची तक टीम इंडिया के बल्लेबाजों ने अफ्रीकी गेंदबाजों की जमकर धुनाई की और सीरीज के दौरान कई बड़े रिकॉर्ड कायम कर दिए। आने वाले समय में इस टेस्ट सीरीज को यदि किसी बात के लिए याद किया जाएगा तो वो होगी सफेद जर्सी में रोहित शर्मा की टेस्ट क्रिकेट में बतौर ओपनर नई पारी शुरुआत। सीरीज के पहले टेस्ट से तीसरे टेस्ट तक हिटमैन का दबदबा दिखाई दिया। विशाखापट्टनम टेस्ट की दोंनों पारियों में शतक जड़कर रोहित ने टेस्ट करियर में बतौर ओपनर शुरुआत की इसके बाद रांची टेस्ट में दोहरा शतक जड़कर सुपरहिट धमाका कर दिया।
रोहित ने रांची में कगिसो रबाडा की गेंद पर छक्का जड़कर टेस्ट करियर का पहला दोहरा शतक पूरा किया। इसी के साथ ही टीम इंडिया के नाम एक विशिष्ट उपलब्धि दर्ज हो गई। टीम इंडिया के 87 साल लंबे टेस्ट इतिहास में पहली बार एक टेस्ट सीरीज में तीन खिलाड़ी दोहरा शतक जड़ने में कामयाब हुए हैं। विशाखापट्टनम टेस्ट की पहली पारी में मयंक अग्रवाल ने 215 रन की पारी खेली थी। इसके बाद पुणे टेस्ट में विराट कोहली ने नाबाद 254* रन की पारी खेली और रांची में रोहित ने 212 रन की पारी खेलकर सीरीज में दोहरे शतक की हैट्रिक पूरी कर दी।
इससे पहले 1955-56 में न्यूजीलैंड के खिलाफ एक सीरीज में तीन दोहरे शतक भारतीय खिलाड़ियों ने बनाए थे। लेकिन दो खिलाड़ियों ने मिलकर कर ऐसा किया था। वीनू मार्कंड के बल्ले से दो और पॉली उमरीगर के बल्ले से एक दोहरा शतक निकला था।
इसके साथ ही यह दूसरा मौका है जब लगातार तीन टेस्ट मैच में भारतीय खिलाड़ियों ने दोहरे शतक जड़े हैं। इससे पहले साल 2016-17 में विराट कोहली और करुण नायर ने ऐसा किया था। विराट कोहली ने इंग्लैंड के खिलाफ 235 रन की पारी खेली। इसके बाद करुण नायर ने चेन्नई में इंग्लैंड के खिलाफ तिहरा शतक(303*) जड़ दिया। इंग्लैंड के खिलाफ सीरीज के बाद विराट ने हैदराबाद में बांग्लादेश के खिलाफ एकमात्र टेस्ट मैच में 204 रन की पारी खेली थी। ऐसे में तीन साल बाद ऐसा दोबारा देखने का मिला है लेकिन इस बार तीन टेस्ट एक ही टेस्ट सीरीज के रहे।