- मध्यप्रदेश और मुंबई के बीच हुआ रणजी फाइनल
- मध्यप्रदेश ने 6 विकेट से जीता खिताबी मुकाबला
- मध्यप्रदेश ने पहली बार रणजी खिताब जीता
इंदौर: मध्यप्रदेश के गठन के साढ़े छह दशक के लम्बे अंतराल के बाद पहला रणजी खिताब जीतने वाली राज्य की टीम का सोमवार रात इंदौर में जोरदार स्वागत किया गया। आदित्य श्रीवास्तव की अगुवाई वाली टीम ने 41 बार रणजी चैंपियन रह चुकी मुंबई टीम को घरेलू क्रिकेट के इस सबसे बड़े मुकाबले में रविवार को बेंगलुरू के चिन्नास्वामी स्टेडियम में पटखनी देकर इतिहास रचा था।
चश्मदीदों ने बताया कि इंदौर लौटी मध्यप्रदेश की विजेता टीम तथा इसके पहले रणजी खिताब के प्रमुख शिल्पकार कोच चंद्रकांत पंडित को हवाई अड्डे पर फूल मालाएं पहनाई गईं और उन्हें मिठाई खिलाकर इस जीत का जश्न मनाया गया। इस दौरान मध्यप्रदेश क्रिकेट संगठन (एमपीसीए) के अध्यक्ष अभिलाष खांडेकर, भाजपा महासचिव कैलाश विजयवर्गीय और बड़ी संख्या में क्रिकेट प्रेमी मौजूद थे।
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मध्यप्रदेश की पहली रणजी विजय के नायकों को फूल मालाओं से सजी एक बस के जरिये होलकर स्टेडियम स्थित एमपीसीए मुख्यालय ले जाया गया। टीम के स्टेडियम पहुंचते ही आतिशबाजी की गई और कोच व खिलाड़ियों पर फूलों की पंखुड़ियां बरसाई गईं। इस दौरान एमपीसीए के सदस्य ढोल की थाप पर थिरकते दिखाई दिए। होलकर स्टेडियम पहुंचने से पहले, टीम ने शहर के खजराना गणेश मंदिर पहुंचकर पूजा-अर्चना की।
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