नई दिल्लीः बांग्लादेश क्रिकेट टीम के दिग्गज ऑलराउंडर शाकिब अल हसन को आईसीसी क्रिकेट विश्व कप 2019 में धमाकेदार प्रदर्शन के बाद एक करारा झटका लगा था। उन पर भ्रष्टाचार (फिक्सिंग) के लिए संपर्क किए जाने की बात अपने बोर्ड और अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट परिषद (आईसीसी) से छुपाई थी जिसके सामने आने के बाद उन पर नियमों के मुताबिक दो साल का प्रतिबंध लगा था। हालांकि तीन आरोप स्वीकार करने के बाद सजा को एक साल कम कर दिया गया। इस सजा को झेल रहे शाकिब ने बताया है कि उन्हें क्या सीख मिली है।
विश्व कप 2019 में शाकिब अल हसन बांग्लादेश की तरफ से अलग ही मूड में नजर आए थे। उन्होंने दुनिया के कई दिग्गजों से बेहतर प्रदर्शन करते हुए सबका दिल जीता था। शाकिब ने विश्व कप में 606 रन बनाए थे और 11 विकेट भी लिए थे। हालांकि विश्व कप के बाद उनको करारा झटका लगा और आईसीसी ने भ्रष्टाचार के लिए उनसे किसी के संपर्क किए जाने की खबर छुपाकर रखी। जांच में वो दोषी पाए गए और उन पर प्रतिबंध लगा जिसने सबको दंग कर दिया।
किसी भी चीज को हल्के में नहीं ले सकते
अब शाकिब अल हसन ने कहा है कि इस पूरे प्रकरण में उनके लिए सबसे बड़ी सीख यह रही कि ‘अज्ञानता’ के कारण भी किसी भी चीज को हल्के में नहीं लेना चाहिए। शाकिब ने डीडब्ल्यू बांग्ला से कहा, ‘मैंने महसूस किया है कि कुछ चीजें हैं जो आप अज्ञानता के कारण भी हल्के में नहीं ले सकते हैं और शायद यही सबसे बड़ा सबक है जो मैंने इस दौरान सीखा है।’
अमेरिका में हैं शाकिब, दूसरे बच्चे के जन्म से खुश
शाकिब अल हसन इन दिनों अमेरिका में है और उनका प्रतिबंध इस साल 29 अक्टूबर को खत्म होगा। उन्होंने कहा, ‘मेरे लिए यह बहुत मुश्किल समय है क्योंकि मेरे दिमाग में हमेशा यह चलते रहता है कि मैं अभी खेल नहीं पा रहा हूं। इस दौरान मेरे लिए अच्छी बात यह रही कि अपने दूसरे बच्चे के जन्म के दौरान मुझे पत्नी के साथ रहने का मौका मिला। जब मेरी बेटी का जन्म हुआ था तब मैं ऐसा नहीं कर सका था।’
वैसे, बांग्लादेश में स्टार खिलाड़ियों के ऊपर भ्रष्टाचार से संबंधित आरोप लगना कोई नई बात नहीं है। काफी पहले बांग्लादेश के युवा बल्लेबाज मोहम्मद अशरफुल तेजी से अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट में कदम बढ़ा रहे थे लेकिन बाद में वो फिक्सिंग मामले में दोषी पाए गए और उन पर आजीवन प्रतिबंध लगा दिया गया था।