- विकास दुबे को पुलिस ने मध्य प्रदेश के उज्जैन में महाकाल मंदिर के परिसर गिरफ्तार किया
- विकास दुबे पर उत्तर प्रदेश के कानपुर में आठ पुलिसकर्मियों की हत्या का आरोप है
- कहा जाता है विकास दुबे जितना बड़ा कुख्यात बदमाश है, उसका परिवार उतना ही सरल है
Vikas Dubey family : उत्तर प्रदेश के कानपुर में 08 पुलिसकर्मियों की हत्या के आरोपी अपराधी विकास दुबे को पुलिस ने मध्य प्रदेश के उज्जैन में महाकाल मंदिर के परिसर से 09 जुलाई को सुबह करीब 09 बजे गिरफ्तार कर हिया। कानपुर लाते समय भागने की कोशिश में एनकाउंटर में ढेर कर दिया गया। गौर हो कि बीते गुरुवार की देर रात कानपुर के चौबेपुर इलाके के बिकरू गांव में विकास दुबे को गिरफ्तार करने गए पुलिस दल पर दुबे और उसके सहयोगियों ने गोलियां बरसाई थीं जिसमें डीएसपी समेत आठ पुलिसकर्मी शहीद हो गए। इस कुख्यात अपराधी विकास दुबे अपने इलाके में अपराधियों का गैंग चलता था। वह लोगों की जमीन हड़पता था। कानपुर में फ्लैट्स पर कब्जा करता था। लोगों से वसूली करता था। विकास दुबे के परिवार में पत्नी, दो बच्चे, मां-पिता और भाई व उसकी पत्नी है। कहा जाता है विकास जितना बड़ा कुख्यात बदमाश है, उसका परिवार उतना ही सरल है।
जानिए कुख्यात अपराधी विकास दुबे परिवार के बारे में-
- विकास दुबे के पिता का नाम रामकुमार है, जो बिकरू गांव में ही रहते हैं, पेशे से किसान रामकुमार हैं। विकास दुबे की मां सरला दुबे हैं, जो लखनऊ में रहती हैं।
- विकास दुबे तीन भाइयों में सबसे बड़ा है। दूसरा भाई दीपू दुबे है और सबसे छोटे भाई का नाम अविनाश दुबे था। सबसे छोटे भाई अविनाश की बहुत पहले हत्या हो गई थी।
- विकास दुबे की तीन बहनें बिट्टन, किरण और रेखा है, जिसमें की बिट्टन की शादी शिवली में हुई है। किरण की शादी उन्नाव में और रेखा की रामपुर में हुई है। इसमें किरण और रेखा का देहांत हो चुका है।
- विकास दुबे ने 25 साल पहले अपने दोस्त राजू खुल्लर श्रीवास्तव की बहन सोनू उर्फ रिचा से लव मैरिज की थी।
- विकास के दो बेटे आकाश और शानू हैं। विकास दुबे का बड़ा बेटा आकाश इंग्लैंड में एमबीबीएस की पढ़ाई कर रहा है जबकि दूसरा बेटा कानपुर में इंटरमीडिएट की पढ़ाई कर रहा है।
- भाई दीपू दुबे लखनऊ स्थित आवास में मां सरला के साथ रहता है।
- भाई पत्नी अंजली बिकरु गांव में 10 साल प्रधान रहीं। उसके काम से खुश होकर तत्कालीन राष्ट्रपति डॉ. एपीजे अब्दुल कलाम पुरस्कृत कर चुके हैं।
विकास के नाम पर कोई संपत्ति नहीं है। उसने अपने रिस्तेदारों के नाम संपत्ति खरीदी है। स्थानीय लोगों के मुताबिक, गांव में ही करीब 200 बीघा खेती की जमीन है, जबकि कानपुर में 30 से अधिक प्लाटों पर कब्जा है। गांववालों के मुताबिक, विकास के पास करीब 100 करोड़ की संपत्ति होगी।