गाजियाबाद (यूपी) : भारतीय जनता पार्टी पर जातिगत राजनीति में शामिल रहने का आरोप लगाते हुये बहुजन समाज पार्टी प्रमुख मायावती ने बृहस्पतिवार को कहा कि केंद्र और राज्य में सत्तारूढ़ दल सांप्रदायिक घृणा फैला रही है। मायावती ने आरेप लगाया कि खाद्य तेल, पेट्रोल और डीजल की कीमतों को नियंत्रित रखने में भाजपा की विफलता ने राज्य में लोगों को दुखी किया है। उन्होंने कांग्रेस पर भी हमला किया और आरोप लगाया कि जब वह सत्ता में थी, तब भारत रत्न पुरस्कार के लिए बी आर आम्बेडकर की अनदेखी की गई थी।
उप्र की मुख्यमंत्री रह चुकी मायावती ने एक अन्य दलित नेता कांशीराम की उपेक्षा किये जाने का भी कांग्रेस पर आरोप लगाया और कहा कि उनकी याद में कभी राष्ट्रीय दिवस की घोषणा नहीं की। उन्होंने जनता से भाजपा, सपा या कांग्रेस के पक्ष में वोट न डालने का आग्रह करते हुए कहा कि केवल बसपा ही अच्छे दिन ला सकती है।
बसपा नेता ने अनुसूचित जाति / अनुसूचित जनजाति वर्ग के वोटों के लिए ‘नाटक’ करने को लेकर कांग्रेस का उपहास किया। उन्होंने समाजवादी पार्टी के शासन की तुलना ‘‘गुंडा, माफिया और असामाजिक तत्वों’’ से की।
उन्होंने आरोप लगाया कि सपा ने केवल उन जिलों, पार्कों और कॉलेजों के नाम बदले हैं जो संतों और सम्मानित पूर्वजों के नाम पर बसपा द्वारा स्थापित किए गए थे। सपा नेता ने यह भी दावा किया कि सपा ने कानून में संशोधन कर सरकारी भूमि के आवंटन में दलित और आदिवासी वर्ग के आरक्षण को समाप्त कर दिया ।