- यह फिल्म ट्रेलर और गाने रिलीज होने के बाद से ही चर्चा में है।
- सेंसर से फिल्म को 'ए' यानी 'एडल्ट्स ओनली' सर्टिफिकेट मिला है।
Gehraiyaan Movie Review in Hindi: दीपिका पादुकोण (Deepika Padukone) की फिल्म गहराइयां (Gehraiyaan) रिलीज हो चुकी है। यह फिल्म ट्रेलर और गाने रिलीज होने के बाद से ही चर्चा में है। दीपिका के अलावा अनन्या पांडे (Ananya Panday), सिद्धांत चतुर्वेदी (Siddhant Chaturvedi) और धैर्य करवा (Dhairya Karwa) नजर आए हैं। दीपिका और सिद्धांत के बीच बोल्ड सीन्स की वजह से फैंस सेंट्रल बोर्ड ऑफ फिल्म सर्टिफिकेशन से फिल्म को 'ए' यानी 'एडल्ट्स ओनली' सर्टिफिकेट मिला है। यह फिल्म दीपिका पादुकोण और सिद्धांत चतुर्वेदी के किसिंग और इंटिमेट सींस से भरी है। अपने से तकरीबन 8 साल छोटे एक्टर के साथ इंटिमेट सींस देने की वजह से दीपिका पादुकोण काफी कॉन्ट्रोवर्सी में रहीं।
अब आते हैं कहानी पर। कहानी बिलकुल आज की जेनरेशन की कहानी है। जिसे हम प्यार करते हैं, कब उससे दूर हो जाते हैं। रिश्तों की मर्यादा आज के समाज में बची नहीं है। सब कुछ होते हुए भी कुछ और पाने की चाहत में जिंदगियां बर्बाद कर बैठते हैं। गहराइयां की कहानी अलीशा खन्ना (दीपिका पादुकोण), टिया खन्ना (अनन्या पांडे), जैन (सिद्धांत चतुर्वेदी) और करण अरोड़ा (घैर्या करवा) के इर्द गिर्द घूमती है। अलीशा और टिया कजिन सिस्टर्स हैं। टिया और जैन एक दूसरे को डेट करते हैं और अलीशा करण के साथ रिलेशनशिप में हैं।
टिया और जैन अमेरिका से मुंबई आते हैं। दोनों अरबपति हैं। जैन का रियल-एस्टेट का कारोबार है और उसका अलीबाग में सैकड़ों करोड़ का प्रोजेक्ट है। जबकि अलीशा (Alisha) सदा उदास रहती है और ज्यादा कमाने के लिए ज्यादा काम करती है। वहीं करण घर बैठा फ्लॉप-बेरोजगार राइटर है। अमेरिका से लौटकर टिया अपनी कजिन अलीशा और उसके बॉयफ्रेंड करण को अपने बॉयफ्रेंट जैन से मिलाती है। सब लोग अलीबाग में मिलते हैं और खूब फन करते हैं। जैन और अलीशा एक-दूसरे के करीब आ जाते हैं, जिसकी वजह से टीया-जैन और करण-अलीशा के बीच रिश्तो में दिक्कतें आने लगती हैं।
फिल्म की कहानी, नई जनरेशन की कहानी है। दूसरे शब्दों में इसे कहा जा सकता है कि ये बड़े शहर के लोगों की कहानी है। दीपिका और सिद्धांत चतुर्वेदी के चुंबनों, आलिंगनों और अंतरंग पलों से दर्शक में उत्तेजना जगाने की कोशिश की गई है लेकिन कहानी में लॉजिक ना होने की वजह से बोरियत होती है। दीपिका पादुकोण एक बार फिर से साबित किया है कि वे बेहतरीन है। नसीरूद्दीन शाह और रजत कपूर का किरदार छोटा लेकिन शानदार है।
फिल्म के कुछ डायलॉग्स बहुत शानदार हैं फिर भी लेखक न तो किरदारों में कोई जान डाल पाए और न ही उन्होंने कहानी में रोचकता पैदा की। सिद्धांत चतुर्वेदी (Siddhant Chaturvedi) बहुत निराश करते हैं। अनन्या (Ananya) प्रभावी कहीं नहीं नजर आईं। भविष्य में इस फिल्म को केवल दीपिका के लिए ही याद किया जाएगा। शकुल बत्रा ने फिल्म को अच्छे से शूट किया गया है। गाने और कैमरा वर्क बढ़िया है।