- सुरेखा सीकरी का कार्डियक अरेस्ट के चलते निधन हो गया।
- सुरेखा सीकरी को लाइमलाइट से दूर रहना ही पसंद था।
- सुरेखा का एक बेटा राहुल सीकरी है जो कि आर्टिस्ट है।
सुरेखा सीकरी अब हमारे बीच नहीं हैं। 75 साल की उम्र में जानी मानी अदाकारा सुरेखा सीकरी का कार्डियक अरेस्ट के चलते निधन हो गया। बधाई हो जैसी फिल्म और टीवी सीरियल बालिका वधू में दादी सा का किरदार निभाकर घर-घर पहचान बनाने वालीं सुरेखा सीकरी ने एक्टिंग जगत में एक लंबी पारी खेली। हालांकि सुरेखा सीकरी को लाइमलाइट से दूर रहना ही पसंद था। यहां तक कि उनका बेटा भी इससे दूर ही रहना पसंद करता है।
सुरेखा सीकरी उत्तर प्रदेश की रहने वाली थीं और उनका बचपन अल्मोड़ा और नैनीताल में बीता। करियर के शुरुआती दौर में अभिनेत्री जीईसी, अलीगढ़ मुस्लिम विश्वविद्यालय अलीगढ़ का हिस्सा रहीं। बाद में सुरेखा सीकरी ने नेशनल स्कूल ऑफ ड्रामा (एनएसडी) से ग्रैजुएशन पूरी की। उन्होंने एक दशक से अधिक समय तक एनएसडी रिपर्टरी कंपनी के साथ भी काम किया।
ऐसी थी सुरेखा सीकरी की फैमिली
सुरेखा सीकरी के पिता वायु सेना में थे और उनकी मां एक शिक्षिका थीं। एजुकेटेड फैमिली से बिलॉन्ग करने वालीं सुरेखा सीकरी की शादी हेमंत रेगे से हुई थी। जो कि पेशे से एक्टर थे और उन्होंने कुछ बॉलीवुड फिल्मों में काम किया था। सुरेखा के पति हेमंत रेगे का 20 अक्टूबर 2009 को हार्ट फेलियर से निधन हो गया था। सुरेखा और हेमंत का एक बेटा राहुल सीकरी है, जो मुंबई में रहता है और एक आर्टिस्ट के रूप में काम करता है।
नसीरुद्दीन शाह लगते थे सुरेखा सीकरी
सुरेखा सीकरी का बॉलीवुड के अनुभवी अभिनेता नसीरुद्दीन शाह के साथ पारिवारिक कनेक्शन था। जैसा कि सुरेखा सीकरी बॉलीवुड में एक लोकप्रिय नाम है, जिन्हें आखिरी बार 2018 की ब्लॉकबस्टर फिल्म बधाई हो में देखा गया था। सुरेखा सीकरी की बहन मनारा सीकरी(परवीन मुराद) नसीरुद्दीन शाह की पहली पत्नी हैं। मनारा सीकरी से नसीर ने अपने बॉलीवुड करियर की शुरूआत में शादी की थी, जबकि सुरेखा सीकरी तब एक स्थापित अभिनेत्री थीं। नसीरुद्दीन शाह ने मनारा से परिवार की इच्छा के खिलाफ जाकर शादी की थी। क्योंकि मनारा उनसे 14 साल बड़ी थीं और इसीलिए नसीर के परिवार वाले इस रिश्ते के खिलाफ थे। हालांकि नसीर और मनारा शादी के कुछ साल बाद अलग हो गए। दोनों की एक बेटी हीबा है।
सुरेखा सीकरी ने 3 बार जीते नेशनल अवॉर्ड
सुरेखा सीकरी ने बड़े पर्दे से लेकर छोटे पर्दे तक अपने हुनर का परचम लहराया है। 19 अप्रैल 1945 को दिल्ली में जन्मीं सुरेखा ने 1978 में पॉलिटकल ड्रामा फिल्म 'किस्सा कुर्सा का' से एक्टिंग की दुनिया में कदम रखा था। 'बालिका वधू' में कड़क दादी सास के रोल के बाद 1986 में'तमस', 1991 में 'नजर', 1996 में 'सरदारी बेगम', 1999 में 'सरफरोश', साल 2004 में आई फिल्म 'तुमसा नहीं देखा' और आयुष्मान खुराना की 'बधाई हो' में सुरेखा ने जरबदस्त अभिनय किया।
कम ही लोग जानते हैं कि सुरेखा सीकरी हिंदी के अलावा मलायालम फिल्मों में भी नजर आईं। इतना ही नहीं सुरेखा सीकरी को तीन राष्ट्रीय पुरस्कार और फिल्मफेयर अवॉर्ड से भी सम्मानित किया गया।