- नालंदा जिला प्रखंड प्रमुख के आरोप पर मिला नोटिस
- JD(U) के कोटे से दो बार भेजे जा चुके हैं राज्ससभा
- केंद्रीय इस्पात मंत्री भी रह चुके हैं आरसीपी सिंह
JDU Notice to RCP Singh: जनता दल (यूनाइटेड) के नेता आरसीपी सिंह की मुश्किलें बढ़ गई हैं। ऐसा इसलिए क्योंकि वह अपनी ही पार्टी में घिर गए हैं। अकूत अचल संपत्ति से जुड़े मामले में उन्हें दल ने शनिवार (छह अगस्त, 2022) को एक नोटिस थमाया है। चिट्ठी के जरिए जेडीयू ने उन्हें इस मामले में जल्द से जल्द अपना लिखित जवाब भी देने को कहा है।
दरअसल, यह नोटिस नालंदा जिला के पार्टी प्रखंड प्रमुख के आरोप के बाद सिंह को भेजा गया है। नोटिस के मुताबिक, सिंह पर जेडीयू में रहते हुए साल 2013 से 2022 तक अकूत संपत्ति बनाने/जुटाने के आरोप हैं।
बताया जाता है कि जिन प्रॉपर्टी को हासिल करने का सिंह पर आरोप है, उनमें नालंदा के दो प्रखंडों में खरीदी गई 40 बीघा भूमि भी है। रोचक बात है कि इन संपत्तियों का जिक्र सिंह के चुनावी हलफनामे में कहीं नहीं मिलता है। ऐसे में पार्टी की सीधा आरोप है कि उन्होंने यह चीज छिपाकर रखी।
पढ़िए, जेडीयू ने इस पत्र के जरिए क्या कुछ कहाः
64 साल के आरसीपी सिंह का पूरा नाम- रामचंद्र प्रसाद सिंह है। सियासत में आने से पहले वह उत्तर प्रदेश काडर के आईएएस अफसर थे। वह साल 2010 से 2022 तक बिहार से राज्यसभा सांसद रहे। यही नहीं, वह जनता दल यूनाइटेड के अध्यक्ष भी रह चुके हैं।
सिंह, जदयू के कोटे से दो बार राज्ससभा जा चुके हैं। उन्हें इसके बाद केंद्र में इस्पात मंत्री बनाया गया। वैसे, सूत्रों की मानें तो उनकी तमन्ना थी कि वह एक बार और मंत्री बनें। उन्होंने इसके लिए कोशिशें भी कीं, पर दल में माहौल उनके विपरीत बन गया।
ऐसे में पार्टी ने खीरू महतो को संसद के उच्च सदन यानी कि राज्य सभा भेजा।