हरियाणा के मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर ने बुधवार को कहा कि राज्य सरकार सशस्त्र बलों से 4 साल की सेवा के बाद सेवामुक्त होने के बाद सरकारी नौकरियों में अग्निवीरों को प्राथमिकता देगी। खट्टर ने मीडिया को संबोधित करते हुए कहा कि उन्हें प्राथमिकता देने की इसी तरह की योजना अन्य नौकरियों में भी बनाई जाएगी। अग्निवीरों को अच्छा पारिश्रमिक दिया जाएगा। सीएम ने कहा कि पहले वर्ष में उन्हें 4.76 लाख रुपए दिए जाएंगे, जो बढ़कर 6.96 लाख रुपए हो जाएंगे।
खट्टर ने कहा कि हरियाणा सरकार की ओर से मैं सभी को आश्वस्त करता हूं कि 75% अग्निवीरों को सरकारी नौकरियों में प्राथमिकता दी जाएगी, यदि वे चाहते हैं। अन्य नौकरियों में भी उन्हें प्राथमिकता देने की इसी तरह की योजनाएं बनेंगी। जब वे 4 साल बाद वापस आएंगे तो उन्हें करीब 12 लाख रुपए दिए जाएंगे। उन्हें अन्य लाभ, भत्ते और बीमा दिया जाएगा।
केंद्र सरकार ने सशस्त्र बलों में युवाओं की भर्ती के लिए 'अग्निपथ' योजना को मंजूरी दी है। इस योजना के तहत चुने गए युवाओं को 'अग्निवीर' के रूप में जाना जाएगा और देशभक्त और प्रेरित युवाओं को चार साल की अवधि के लिए सशस्त्र बलों में सेवा करने की अनुमति मिलेगी। अग्निवीरों को तीनों सेवाओं में लागू जोखिम और कठिनाई भत्ते के साथ एक आकर्षक अनुकूलित मासिक पैकेज दिया जाएगा।
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चार साल की कार्यावधि के पूरा होने पर, अग्निवीरों को एकमुश्त 'सेवा निधि' पैकेज का भुगतान किया जाएगा, जिसमें उनका योगदान शामिल होगा जिसमें उस पर अर्जित ब्याज और सरकार से उनके योगदान की संचित राशि के बराबर योगदान शामिल होगा। 'सेवा निधि' को आयकर से छूट दी जाएगी। ग्रेच्युटी और पेंशन संबंधी लाभों का कोई अधिकार नहीं होगा। अग्निवीरों को भारतीय सशस्त्र बलों में उनकी कार्यावधि के लिए 48 लाख रुपये का गैर-अंशदायी जीवन बीमा कवर प्रदान किया जाएगा।
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