श्रीनगर : जम्मू कश्मीर में सुरक्षा बलों को बड़ी कामयाबी हाथ लगी है। पुलिस और सुरक्षा बलों के संयुक्त ऑपरेशन में बुधवार को उच्च सुरक्षा वाले दुर्गनाग इलाके में कृष्णा ढाबा को निशाना बनाने वाले तीन आतंकियों को 48 घंटे के भीतर गिरफ्तार कर लिया गया है। ये तीनों पाकिस्तान स्थित आतंकी संगठन लश्कर-ए-तैयबा से जुड़े थे, जो घाटी में अमन-चैन के माहौल को बिगाड़ना चाहते थे।
ढाबे पर यह हमला उस दिन हुआ था, जब विदेशी राजनयिकों का एक प्रतिनिधिमंडल कश्मीर के दौरे पर था। आतंकियों ने आकाश मेहरा नाम के शख्स पर उनके ढाबे में गोली चलाई थी, जिसमें वह घायल हो गए थे। उन्हें बाद में अस्पताल में भर्ती कराया गया। यह ढाबा श्रीनगर के बेहद पॉश इलाके में है। इसके 200 मीटर के दायरे में भारत और पाकिस्तान के लिए संयुक्त राष्ट्र सैन्य पर्यवेक्षक समूह (यूएनएमओजीआईपी) के कार्यालय और जम्मू-कश्मीर के मुख्य न्यायाधीश के निवास जैसे कई महत्वपूर्ण भवन हैं। अब उस घटना के लिए जिम्मेदार लश्कर-ए-तैयबा के तीन आतंकियों को सुरक्षा बलों ने गिरफ्तार कर लिया है।
लश्कर से जुड़े थे आतंकी
जम्मू कश्मीर पुलिस की ओर से शुक्रवार को बताया गया कि कृष्णा ढाबे पर हमले के सिलसिले में जिन तीन आतंकियों को गिरफ्तार किया गया है, उनकी पहचान सुहैल अहमद मीर, ओवैस मंजूर सोफी और विलायत अजीज मीर के तौर पर की गई है। ये कश्मीर के ही रहने वाले हैं, जो पाकिस्तान स्थित आतंकी संगठन लश्कर-ए-तैयबा के साथ संपर्क में थे।
पुलिस के मुताबिक, घाटी में अमन-चैन के बीच पाकिस्तान स्थित आतंकी संगठन लगातार यहां शांति का माहौल बिगाड़ने की कोशिश कर रहा है और इसी के तहत 17 फरवरी को कृष्णा ढाबे पर हमला किया गया था, ताकि घाटी में पहुंचने वाले बाहरी लोगों को डराया जा सके और यहां पर्यटन गतिविधियों को बाधित किया जा सके।
गिरफ्तार आतंकियों के पास से पुलिस ने पिस्तौल और ग्रेनेड बरामद की है। वह मोटरसाइकिल भी बरामद कर ली गई है, जिनका इस्तेमाल आतंकियों ने वारदात को अंजाम देने के लिए किया था। पुलिस के अनुसार, गिरफ्तार आतंकियों ने अपना अपराध कबूल कर लिया है। इस माले में एफआईआर दर्ज कर ली गई है।