चित्रदुर्ग (कर्नाटक) : जिला सत्र अदालत ने शुक्रवार को श्री मुरुग मठ के मुख्य महंत शिवमूर्ति मुरुग शरनारू को चार दिन की पुलिस हिरासत में भेज दिया गया। शिवमूर्ति मुरुग शरनारू 5 सितंबर तक पुलिस हिरासत में रहेंगे। रिपोर्ट्स के मुताबिक, पुलिस ने बेंच से 5 दिन की रिमांड मांगी थी। इससे पहले गुरुवार को कर्नाटक पुलिस ने दो नाबालिग लड़कियों के कथित यौन उत्पीड़न के आरोप में शरनारू को गिरफ्तार किया था। इससे पहले श्री मुरुग मठ के मुख्य महंत, शिवमूर्ति मुरुघा शरनारू को सीने में दर्द की शिकायत के बाद जिला अस्पताल में भर्ती कराया गया था, जहां से उन्हें बाद में जिला सत्र अदालत ले जाया गया।
कर्नाटक के मुख्यमंत्री बसवराज बोम्मई ने कहा कि उनकी सरकार दो नाबालिग लड़कियों के कथित यौन उत्पीड़न के मामले में श्री मुरुग मठ के संत शिवमूर्ति मुरुग शरनारू की गिरफ्तारी में देरी के आरोप का जवाब देने के लिए उत्तरदायी नहीं है। इस मामले को निपटाने की पूरी आजादी दी गई। मीडिया से बातचीत के दौरान सीएम बोम्मई ने कहा कि हमें किसी भी आरोप का जवाब देने की जरूरत नहीं है। मैं पहले ही कह चुका हूं कि कानून के मुताबिक सबकुछ किया जाएगा। अभी बोलना उचित नहीं है। हमने पुलिस को खुली छूट दे दी है और वे अपना काम कर रहे हैं।
कर्नाटक के कानून और व्यवस्था के अतिरिक्त पुलिस महानिदेशक (एडीजीपी) आलोक कुमार ने कहा कि श्री मुरुग मठ के मुख्य महंत शिवमूर्ति मुरुग शरनारू नाबालिगों के यौन उत्पीड़न के आरोपी को गिरफ्तार किया गया है। उन्होंने ने पहले ही कहा था कि उचित प्रक्रिया का पालन किया जाएगा। मेडिकल टेस्ट और जांच प्रक्रिया के अनुसार की जाएगी। उसे भी न्यायाधीश के समक्ष पेश किया जाएगा।
नाबालिग लड़कियों द्वारा यौन उत्पीड़न का आरोप लगाने के बाद चित्रदुर्ग में प्रभावशाली मुरुग मठ के महंत के खिलाफ POCSO अधिनियम के तहत एफआईआर दर्ज की गई है। चित्रदुर्ग में मुरुग मठ के शिवमूर्ति मुरुग शरनारू के खिलाफ एफआईआर दर्ज की गई है। एफआईआर के अनुसार, लड़कियों के साथ दो साल से अधिक समय तक यौन शोषण किया गया था। इस मामले पर राज्य और देशभर के कई नेताओं ने अपनी प्रतिक्रिया दी है।