श्रीनगर : देश में अवैध लाउडस्पीकरों पर प्रतिबंध का दायरा बढ़ता जा रहा है। कर्नाटक, महाराष्ट्र और उत्तर प्रदेश के बाद अब केंद्र शासित प्रदेश जम्मू में लाउडस्पीकर के अवैध इस्तेमाल पर रोक लगा दी गई है। जम्मू नगर निगम की मंगलवार को बैठक के दौरान यह फैसला लिया गया। बैठक में भाजपा के एक पार्षद ने सार्वजनिक जगहों पर लाउडस्पीकरों पर प्रतिबंध लगाने के लिए एक प्रस्ताव पेश किया जिसे मंजूरी दे दी गई। जम्मू नगर निगम के वार्ड नंबर तीन के पार्षद नरोत्तम शर्मा ने अवैध लाउडस्पीकरों पर प्रतिबंध लगाने का प्रस्ताव पेश किया।
सुप्रीम कोर्ट की गाइडलाइन का पालन हो-पार्षद
रिपोर्टों के मुताबिक शर्मा ने कहा कि वह चाहते हैं कि उनके यहां लाउडस्पीकर के इस्तेमाल पर सुप्रीम कोर्ट की गाइडलाइन का पालन किया जाए। बता दें कि देश की शीर्ष अदालत ने रात 10 बजे से सुबह छह बजे तक सार्वजनिक जगहों पर लाउडस्पीकर बजाने पर प्रतिबंध लगाया है। अदालत ने अपना यह आदेश जुलाई 2005 में दिया। हालांकि, विशेष अवसरों पर प्रशासन से अनुमति लेकर लाउडस्पीकर बजाने की छूट है। सुप्रीम कोर्ट ने अपने आदेश में कहा है कि ध्वनि प्रदूषण का मनुष्य के स्वास्थ्य पर विपरीत असर पड़ता है।
'प्रस्ताव से किसी समुदाय को निशाना नहीं बनाया'
शर्मा ने बताया कि उन्होंने अपने प्रस्ताव में कहा है कि आस्था के केंद्रों, बैंक्वेट हॉल अथवा सार्वजनिक स्थलों जहां पर लाउडस्पीकर अवैध तरीके एवं बिना प्रशासन की अनुमति से बजाए जाते हैं, उन पर रोक लगाई जाए। शर्मा ने कहा कि उन्होंने अपना प्रस्ताव किसी समुदाय को निशाना बनाने के लिए के तैयार नहीं किया है। यह प्रस्ताव जम्मू के सभी समुदायों पर लागू होता है।
महाराष्ट्र में सबसे ज्यादा विवाद
लाउडस्पीकर पर सबसे ज्यादा विवाद महाराष्ट्र में देखने को मिला। इसे लेकर शिवसेना और महाराष्ट्र नवनिर्माण सेना (मनसे) आमने-सामने दिखीं। मनसे चीफ राज ठाकरे ने कहा कि उन्हें राज्य सरकार से केवल एक ही बात कहनी है; हमारे धैर्य की परीक्षा मत लो। सत्ता आती है चली जाती है। महाराष्ट्र सरकार ने अभी तक मस्जिदों से लाउडस्पीकर हटाने पर कोई कार्रवाई नहीं की है।