मुख्य बातें
- अभिषेक बनर्जी को गिरफ्तारी से राहत
- कोलकाता में ईडी को पूछताछ की इजाजत
- कोलकाता पुलिस बिना सुप्रीम कोर्ट को जानकारी दिए ईडी टीम को नहीं करेगी गिरफ्तार
कोल स्कैम में मनी लॉन्ड्रिंग के आरोपों का सामना कर रहे अभिषेक बनर्जी को सुप्रीम कोर्ट से बड़ी राहत मिली है। अदालत ने उनकी गिरफ्तारी पर 19 जुलाई तक के लिए रोक लगा दी है। इसके साथ ही उनसे कोलकाता में ही पूछताछ की जाएगी। प्रवर्तन निदेशालय ने सुप्रीम कोर्ट को बताया कि टीएमसी नेता अभिषेक बनर्जी पश्चिम बंगाल कोयला घोटाला मामले में संभावित आरोपी हैं और उन्हें दिल्ली में उनसे पूछताछ करने की जरूरत है। प्रवर्तन निदेशालय ने अपने तर्क में कहा कि कोलकाता में उनसे पूछताछ करना मुश्किल होगा।
अभिषेक बनर्जी और मनी लॉन्ड्रिंग केस
- एससी ने ईडी को जारी किया नोटिस
- 19 जुलाई तक गिरफ्तारी नहीं
- 19 जुलाई को फिर होगी सुनवाई तय किया गया
- अंतरिम आदेश में 24 घंटे की नोटिस देने के बाद प्रवर्तन निदेशालय कोलकाता में अभिषेक बनर्जी से पूछताछ कर सकती है।
ईडी का भी सुप्रीम बचाव
अगर कोलकाता पुलिस को ईडी अधिकारियों के खिलाफ कोई शिकायत मिलती है तो सुप्रीम कोर्ट की अनुमति के बिना कोई कार्रवाई नहीं होगी। इस तरह से सुप्रीम कोर्ट ने प्रवर्तन निदेशालय का भी बचाव किया है। इससे पहले 21 मार्च 2022 को पश्चिम बंगाल में कथित कोयला घोटाले से जुड़े मनी लॉन्ड्रिंग मामले में पूछताछ के लिए टीएमसी सांसद अभिषेक बनर्जी दिल्ली में प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) के समक्ष पेश हुए थे। अभिषेक बनर्जी से इस मामले में पिछले साल सितंबर में एक बार पूछताछ की गई थी। उनकी पत्नी रुजीरा भी उनके साथ दिल्ली के लिए रवाना हुईं और मंगलवार को भी इसी मामले में एजेंसी द्वारा उनसे पूछताछ किए जाने की उम्मीद है। दोनों के खिलाफ ईडी का समन तब आया जब 11 मार्च को दिल्ली उच्च न्यायालय ने दंपति की उस याचिका को खारिज कर दिया जिसमें एजेंसी के नोटिस को चुनौती दी गई थी जिसमें उन्हें कोलकाता के बजाय राष्ट्रीय राजधानी में पेश होने के लिए कहा गया था।