नई दिल्ली : निर्भया के गुनहगारों में से एक मुकेश सिंह की याचिका को सुप्रीम कोर्ट ने बुधवार को खारिज कर दिया है। उसने राष्ट्रपति से दया याचिका खारिज होने को शीर्ष अदालत में चुनौती दी थी। इसके साथ ही उसके सभी कानूनी अधिकार समाप्त हो गए हैं। इस मामले में उसे 1 फरवरी को फांसी दी जानी है। उसके साथ ही इस मामले में तीन अन्य दोषियों विनय शर्मा, अक्षय सिंह, पवन गुप्ता को भी फांसी दी जानी है, जिसके लिए डेथ वारंट जारी हो चुका है।
निर्भया के दोषियों के लिए हालांकि डेथ वारंट भी जारी हो चुका है, लेकिन दोषी इस मामले में अपनी फांसी को टालने के लिए हर पैंतरा अपना रहे हैं। मुकेश ने जहां मंगलवार को सनसनीखेज दावा करते हुए कहा था कि तिहाड़ जेल में उसका यौन उत्पीड़न हुआ और उसे इस मामले के एक अन्य दोषी अक्षय के साथ शारीरिक संबंध बनाने के लिए बाध्य किया गया। वहीं, अक्षय की ओर से भी क्यूरेटिव पिटीशन दायर की गई। इसे दोषियों द्वारा मामले को और लटकाने की कोशिश के तौर पर देखा जा रहा है।
इस बीच निर्भया की मां ने कहा है कि उन्हें न्याय प्रक्रिया पर पूरा भरोसा है। वह सात साल से अपनी बेटी के लिए इंसाफ की लड़ाई लड़ रही हैं। अदालती प्रक्रिया में जो भी समय लगे, वह इसके साथ चलेंगी। उन्होंने उम्मीद जताई कि उन्हें जल्द न्याय मिलेगा और दोषियों को निर्धारित समय पर फांसी होगी।
निर्भया के दोषियों विनय शर्मा, अक्षय सिंह, पवन गुप्ता की ओर से अभी दया याचिका दायर नहीं की गई है। अगर ये तीनों याचिका दायर नहीं करते तो इनकी फांसी तय समय पर ही होगी, जिसके लिए 1 फरवरी सुबह 6 बजे का समय निर्धारित किया गया है। तिहाड़ जेल प्रशासन ने इसकी तैयारी भी कर रखी है। सभी दोषियों को अलग-अलग सेल में रखा गया है और उन पर नजर रखी जा रही है।