- ट्विटर ने उपराष्ट्रपति वेंकैया नायडू के ट्विटर अकाउंट से blue badge हटाया
- सोशल मीडिया पर उठ रही है ट्विटर के खिलाफ एक्शन लेने की मांग
नई दिल्ली: माइक्रोब्लॉगिंग साइट ट्विटर ने देश के उपराष्ट्रपति एम. वैंकेया नायडू के के ट्विटर अकाउंट को अनवेरिफाइड करते हुए उसमें से 'ब्लू टिक' हटा दिया है। जैसे ही उपराष्ट्रपति के अकाउंट से ब्लू टिक हटने की खबर आई तो ट्विटर पर ही लोगों का गुस्सा फूट पड़ा। भाजपा नेता सुरेश नाखुआ ने सवाल करते हुए कहा, 'ट्विटर ने उपराष्ट्रपति के हैंडल से क्यों ब्लू टिक हटाया? यह भारत के संविधान पर हमला है।' हालांकि कई यूजर्स का मानना है कि अकाउंट सक्रिय नहीं था इस कारण हो सकता है उसे अनवेरिफाइड कर दिया हो। बाद में सरकार की नाराज़गी के बाद ट्विटर ने उपराष्ट्रपति वेंकैंया नायडू के ट्विटर पर ब्लू टिक बहाल कर दिया।
किस स्थिति में हटता है ब्लू टिक
Twitter की सेवा की शर्तों के अनुसार, यदि कोई अपने हैंडल का नाम (@handle) बदलता हैं, यदि किसी का अकाउंट निष्क्रिय या अधूरा हो जाता है, या यदि यूजर अब उस स्थिति में नहीं हैं, जिसके कारण आपको शुरू में सत्यापित किया गया था - जैसे कि एक निर्वाचित सरकारी अधिकारी जो कार्यालय छोड़ देता है - और सत्यापन के लिए हमारे मानदंडों को पूरा नहीं करते हैं, तो आप अपना बैज खो सकते हैं
संघ के नेताओं के भी अकाउंट अनवेरिफाइड
इसके अलावा राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के कई वरिष्ठ नेताओं के ट्विटर अकाउंट से भी ब्लू टिक हटा कर अनवेरीफाईड किया गया। इनमें कृष्ण गोपाल, सुरेश सोनी, सुरेश जोशी और अरुण कुमार प्रमुख हैं। हालांकि संघ प्रमुख और सरकार्यवाह के अकाउंट पर फिलहाल ब्लू टिक है। ट्विटर का कहना है कि छह महीने से इन लोगों ने अकाउंट लॉगइन नहीं किया था इसलिए हटाया गया है।
आपको बता दें कि सरकार की नई गाइडलाइन के बीच ट्विटर और सरकार के बीच हालिया दिनों में विवाद बढ़ा है। नई गाइडलाइन को अभी तक ट्विटर ने अपनी रजामंदी नहीं दी है। कुछ दिन पहले ही कंटेंट फिल्टरिंग को लेकर दिल्ली पुलिस ने ट्विटर इंडिया के दिल्ली और गुरुग्राम के दफ्तर पर छापेमारी की थी।