- सरकार के अनुसार भूमाफियाओं के खिलाफ कार्रवाई से 1.5 लाख एकड़ से ज्यादा की जमीन खाली कराई गई है।
- पिछले सवा 4 साल में 2464 अतिक्रमण करने वालों की पहचान कर 187 भूमाफियाओं को जेल भेजा गया।
- बाहुबली विधायक मुख्तार अंसारी से लेकर अतीक अहमद जैसे लोगों पर कार्रवाई की गई है।
नई दिल्ली: उत्तर प्रदेश में आगामी विधान सभा चुनावों में योगी सरकार भूमाफियों पर एक्शन को बड़ा चुनावी मुद्दा बना सकती है। उत्तर प्रदेश सरकार ने पिछले सवा चार साल में 41 मूमाफियाओं की संपत्ति कुर्क की है। जिसमें बाहुबली विधायक मुख्तार अंसारी से लेकर अतीक अहमद जैसे लोग भी शामिल हैं। यूपी सरकार का दावा है कि जुलाई तक प्रदेश में 41 भूमाफिया की संपत्ति कुर्क की गई है। इसके तहत 2 पर रासुका, 170 आरोपियों पर गैंगेस्टर और 399 आरोपियों के खिलाफ गुंडा एक्ट के तहत कार्यवाही की गई है और उनके 28 शस्त्र लाइसेंस निरस्त किए गए हैं। सरकार का दावा है कि इस कार्रवाई से 1.5 लाख एकड़ से ज्यादा की जमीन खाली कराई गई है।
जिले स्तर पर तलाशे जा रहे हैं भूमिया
इस संबंध में उत्तर प्रदेश के मुख्य मंत्री योगी आदित्यनाथ ने 2017 में सत्ता संभालने के बाद से भूमाफियों के खिलाफ सख्त एक्शन लेने की बात कही थी। और चार स्तरीय एंटी एंटी भूमाफिया टास्क फोर्स का गठन किया गया। साथ ही भूमाफियाओं की तलाशी के लिए जिले स्तर पर अभियान शुरू किया गया। जुलाई तक की कार्रवाई में प्रदेश में 41 भूमाफिया की संपत्ति कुर्क की गई है। दो पर रासुका, 170 आरोपियों पर गैंगेस्टर और 399 आरोपियों के खिलाफ गुंडा एक्ट के तहत कार्यवाही की गई है और 28 शस्त्र लाइसेंस निरस्त किए गए हैं। इसके अलावा 102 आरोपियों की हिस्ट्रीशीट भी खोली गई है। 15 अगस्त तक करीब 62423.89 हेक्टेयर यानि 1,54,249 एकड़ से अधिक भूमि को मुक्त कराया गया है। साथ ही राजस्व विभाग ने 2464 अतिक्रमण करने वालों की भी पहचान की है। और इसके आधार पर 187 भूमाफियाओं को भी जेल भेजा गया है। और 22,992 राजस्व संबंधी मुकदमें, 857 सिविल मामलों प मुकदमें और 4407 एफआईआर कराई गई है।
मुख्तार अंसारी और अतीक अहमद पर क्या हुई कार्रवाई
माफिया मुख्तार अंसारी और उसके सहयोगियों के खिलाफ जनवरी 2021 तक की गई कार्रवाई के तहत, सरकारी जमीन खाली कराने, ध्वस्तीकरण, जब्त संपत्ति की कीमत करीब 179 करोड़ रुपए आंकी गई है। इसी तरह पुलिस ने गैंगेस्टर एक्ट के तहत 127 करोड़ रुपये की संपत्ति जब्त की है। इस समय मुख्तार अंसारी यूपी के बांदा जिले में बंद है, उस पर 50 से ज्यादा मुकदमें चल रहे हैं। इसी तरह यूपी पुलिस ने जनवरी2021 तक अतीक अहमद और उसके सहयोगियों की आपराधिक गतिविधियों से बनाई गई 203 करोड़ रुपये से ज्यादा की अवैध संपत्ति को जब्त किया है। अतीक, उसके परिवारजनों और सहयोगियों के 31 संपत्तियों की जांच प्रवर्तन निदेशालय (ईडी), आयकर विभाग और ईओडब्ल्यू से कराई जा रही है। अतीक अहमद गुजरात के अहमदाबाद जिले में बंद है।
यूपी सरकार ने बनाया एंटी भूमाफिया पोर्टल
उत्तर प्रदेश सरकार ने भूमाफियाओं के खिलाफ बिना डर के लोग शिकायत कर सके। इसके लिए एंटी भूमाफिया पोर्टल भी बना रखा है। जहां कोई भी व्यक्ति अपनी शिकायत भूमाफिया के खिलाफ ऑनलाइन दर्ज करा सकता है। इसके लिए http://jansunwai.up.nic.in/पर जाकर शिकायत दर्ज करानी होगी। सरकार ने इस संबंध में एक मई 2017 को आदेश भी निकाला था। जिससे सरकार के लिए ऐसे भूमिफायिओं की पहचान करना आसान हुआ है। साथ ही लोग स्थानीय स्तर पर भी शिकायत दर्ज करा सकते हैं। गाजियाबाद के एक बिल्डर के अनुसार भूमाफियाओं के खिलाफ कार्रवाई का असर काफी हुआ है। लोग धड़ल्ले से शिकायत कर रहे हैं। साथ ही एक बार शिकायत पहुंचने पर अधिकारियों के कार्यवाही करना भी जरूरी हो गया है। अपना उदाहरण बताते हुए वह कहते हैं "मैंने एक जमीन अपार्टमेंट बनाने के लिए खरीदी थी, उसकी किसी ने शिकायत कर दी कि भूमाफियों ने कब्जा कर ली है। उसके बाद मेरे पास अधिकारी पहुंच गए। इस तरह की कार्यवाही पहले नहीं होती थी। हालांकि बाद में जमीन सही पाई गई। पर इस तरह के एक्शन से भूमाफियाओं में डर जरूर फैलेगा "
चुनावी साल में भुनाएगी भाजपा ?
उत्तर प्रदेश के मुख्य मंत्री आदित्यनाथ अपनी सख्त छवि के लिए जाने जाते हैं। जिस तरह वह बीच-बीच में भूमाफियाओं की कार्रवाई को लेकर सरकार की उपलब्धियों को गिनाते हैं और विपक्ष को निशाने पर लेते हैं। ऐसे में साफ है कि भाजपा 2022 में होने वाले विधान सभा चुनावों में , इसे सरकार की प्रमुख उपलब्धियों में से एक के रुप में प्रचारित करेगी। अब देखना है कि विपक्ष इस पर कैसी प्रतिक्रिया देता है। क्योंकि समाजवादी पार्टी के अध्यक्ष अखिलेश यादव का जनवरी 2021 मेंऑपरेशन बुलडोजर पर दिया गया बयान काफी चर्चित हुआ था। उस समय सरकार मुख्तार अंसारी द्वारा बनाई गई अवैध संपत्तियों पर बुलडोजर चला रही थी।उन्होंने कहा था "पहले की इमारतों के नक्शे पास नहीं होते थे।सिर्फ चिन्हित करके कुछ लोगों की बिल्डिंग तोड़ना गलत है। अगर राजनीति में यह परंपरा आ जायेगी तो जब कल दूसरे की सरकार आएगी तो वह बुलडोजर आप की तरफ ले जाएगी। आज जो अधिकारी उनके लिए काम कर रहे हैं कल दूसरे के लिए करेंगे।" अब देखना है चुनाव में भूमाफियाओं पर कार्रवाई कितना बड़ा मुद्दा बनती है।